आईआईटी मद्रास की छात्रा फातिमा लतीफ खुदकुशी मामले की गूंज सोमवार को संसद में सुनाई दी. डीएमके सांसद कनिमोझी ने कहा कि आखिर तमिलनाडु सरकार किसे बचाने की कोशिश कर रही है. फातिमा लतीफ के लिए इंसाफ की मांग करते हुए उन्होंने लोकसभा में कहा कि उच्च शिक्षा के संस्थानों में जाति और धर्म के आधार पर भेदभाव को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है.
सोमवार को शीलकालीन सत्र की शुरुआत में डीएमके ने इस मामले को लोकसभा में उठाया. फातिमा लतीफ ने 9 नवंबर को खुदकुशी कर ली थी. इस मामले में मृतक छात्रा अब्दुल लतीफ ने आईआईटी मद्रास के ही एक प्रोफेसर पर आरोप लगाया है.
लोकसभा में शून्यकाल डीएमके सांसद कनिमोझी ने लोकसभा में कहा कि फातिमा लतीफ के माता-पिता का कहना है कि जब वे उनके कमरे में गए थे, उससे पहले उसके कमरे को साफ कर दिया गया था, इस मामले में न कोई एफआईआर दर्ज की गई और न ही किसी को गिरफ्तार किया गया.
कनिमोझी ने कहा, "खुदकुशी करने वाली लड़की ने एक प्रोफेसर की ओर इशारा किया था, ये लोग किसे बचाने की कोशिश कर रहे हैं, ये क्या हो रहा है, कितना भेदभाव किया जाएगा, अगर विद्यार्थी ही भेदभाव से तंग आकर खुदकुशी करने लगेंगे तो क्या ये सही है.आईआईटी का नाम खराब किया गया है, उच्च शिक्षा के संस्थानों जातीय और धर्म के आधार पर भेदभाव करने का स्थान नहीं बन सकते हैं."
क्राइम ब्रांच ने तीन शिक्षकों को किया तलब
आईआईटी मद्रास के फातिमा लतीफ खुदकुशी केस में तमिलनाडु क्राइम ब्रांच ने आईआईटी के तीन शिक्षकों को पूछताछ के लिए बुलाया है. इन शिक्षकों से सोमवार को पूछताछ की जा रही है.
भूख हड़ताल पर बैठे 2 छात्र
इस मामले में इंसाफ की मांग को लेकर आईआईटी मद्रास के 2 छात्र भूख हड़ताल पर बैठ गए हैं. इन छात्रों की मांग है कि फातिमा लतीफ और पिछले एक साल में कैंपस में हुई खुदकुशी की घटनाओं की जांच के लिए एक आंतरिक कमेटी का गठन किया जाए और इन मामलों की विस्तार से जांच की जाए.
मानव संसाधन मंत्रालय ने शुरू की जांच
केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री ने रमेश पोखरियाल निशंक ने कहा है कि इस मामले की उच्च स्तरीय जांच की जा रही है. उन्होंने कहा कि उच्च शिक्षा विभाग के सचिव को इस मामले की जांच के लिए चेन्नई भेजा गया है, वे इस मामले की जांच कर रहे हैं.