भारत अगले हफ्ते पाकिस्तान के साथ होने वाली विदेश सचिव स्तर की वार्ता में मुंबई में 26/11 के आतंकी हमलों के 7 आरोपियों एवं लश्करे तैयबा के सदस्यों के आवाज के नमूने मांगेगा ताकि जांच में मदद मिल सके. उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि भारत जकी उर रहमान लखवी, जरार शाह, अबु अल कामा, शाहिद जमील रियाज, हमद अमीन सादिक, यूनुस अंजुम और जमील अहमद की आवाज के नमूने मांगेगा.
सूत्रों ने बताया कि इन नमूनों का मिलान 26 नवंबर 2008 को मुंबई हमलों के दौरान 10 पाकिस्तानी आतंकवादियों की टेलीफोन पर की गयी बातचीत से किया जायेगा. इस बातचीत को भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने रिकार्ड किया था. विदेश सचिव निरूपमा राव की उनके पाकिस्तानी समकक्ष सलमान बशीर से 25 फरवरी को बातचीत होगी. इस दौरान भारत द्वारा सीमा पार से होने वाले आतंकवाद पर गहरी चिंता जताये जाने की संभावना है.
सातों आरोपियों के खिलाफ पिछले साल 25 नवंबर को एक पाकिस्तानी अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया गया था. भारत अब महसूस कर रहा है कि पाकिस्तान उनकी आवाज के नमूने प्रदान कर सकता है जिससे मौजूदा जांच में मदद मिलेगी. सूत्रों ने कहा कि कराची में इंडियन मुजाहिदीन के परचम तले कुछ युवकों को हथियार प्रशिक्षण दिये जाने की बात से पाकिस्तानी पक्ष को अवगत कराया गया जायेगा. स्पष्ट तौर पर यह काम लश्करे तैयबा ही कर रहा है.
लश्कर के प्रमुख कमांडर लखवी को मुंबई हमले का सूत्रधार माना जा रहा है जिसमें 166 लोगों की मौत हो गयी थी. वहीं शाह, कामा, रियाज और सादिक ने 10 हमलावरों को हथियारों का प्रशिक्षण मुहैया कराया था. बाकी दो यूनुस अंजुम और जमील अहमद भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के लिए नया नाम है और उनका मानना है कि उनकी आवाज के नमूने मिलने के बाद उनका विशेष ब्यौरा मिल सकेगा. इन दोनों के खिलाफ पाकिस्तानी अधिकारियों ने आरोपपत्र दाखिल किए हैं.
इंडियन मुजाहिदीन और प्रतिबंधित सिमी के कार्यकर्ताओं पर राष्ट्रीय राजधानी के अलावा अहमदाबाद और बैंगलोर सहित विभिन्न स्थानों पर सिलसिलेवार बम विस्फोट करने का आरोप है. वार्ता के दौरान भारत की ओर से जाली भारतीय नोट का मुद्दा भी उठाए जाने की संभावना है. एजेंसियों को संदेह है कि पाकिस्तान के रास्ते जाली नोट भेजे जा रहे हैं. सूत्रों ने बताया कि पिछले कुछ महीनों के दौरान सीमा पार से घुसपैठ के मामलों में वृद्धि को लेकर भारतीय चिंता से भी पाकिस्तानी पक्ष को अवगत कराया जाएगा.