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जानें, सर्जिकल स्ट्राइक के हीरो की कहानी, इन दिनों मिली है ये अहम जिम्मेदारी

पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक के दौरान डीजीएमओ रहे लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह ने 1 जून को सेना की सबसे महत्वपूर्ण उत्तरी कमान की कमान संभाल ली. लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अंबु के स्थान पर नियुक्त हुए जिन्हें थल सेना का उपप्रमुख नियुक्त किया गया.

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रणबीर सिंह
रणबीर सिंह

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सर्जिकल स्ट्राइक के जरिए करीब 2 साल पहले पाकिस्तान को उसी की धरती पर सबक सिखाने का खुलासा करने वाले लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह ने इस समय कश्मीर में आतंकियों के खात्मे का जिम्मा संभाल रखा है. उन्हें हाल ही में भारतीय सेना में अहम जिम्मेदारी संभाल दी गई है.

पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक के दौरान डीजीएमओ रहे लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह ने 1 जून को सेना की सबसे महत्वपूर्ण उत्तरी कमान की कमान संभाल ली. लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह लेफ्टिनेंट जनरल देवराज अंबु के स्थान पर नियुक्त हुए जिन्हें थल सेना का उपप्रमुख नियुक्त किया गया.

सेना की नौ डोगरा के लेफ्टिनेंट जनरल रणबीर सिंह उत्तरी कमान के नए कमांडर के तौर पर खासकर जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के खिलाफ कमान संभाले हुए हैं. 2016 में पीओके में हुई सर्जिकल स्ट्राइक की मीडिया को जानकारी जनरल रणबीर सिंह ने ही दी थी जिसके बाद मीडिया में डीजीएमओ के तौर पर उनकी काफी चर्चा हुई.

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जब रणबीर सिंह बहुत छोटे थे तभी उनके पिता का साया उनके सिर से उठ गया था. बचपन से ही उनका सपना सेना में जाने का था. उनके चाचा मनमोहन सिंह ने उनका लालन-पालन किया जो कि भारतीय सेना में कर्नल थे.

जालंधर में पैदा हुए रणबीर सिंह ने ने प्रारंभिक शिक्षा कपूरथला के सैनिक स्कूल की. उसके बाद 1980 में भारतीय सैन्य अकादमी, देहरादून के लिए चुने गए. उनकी पहली पोस्टिंग 9 डोगरा रेजीमेंट में हुई.

डीजीएमओ के बाद लेफ्टिनेंट जनरल रणवीर सिंह को प्रमोशन देकर स्ट्राइक 1 कोर का कमांडर बनाया था. सेना की स्ट्राइक 1 कोर देश के तीन हमलावर बलों में से एक है जिसका मुख्यालय मथुरा में है. सेना की यह कोर शॉर्ट नोटिस पर भी पाकिस्तान के भीतर घुसकर हमला करने के लिए हमेशा तैयार रहती है.

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