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Ukraine से निकल रहे भारतीय छात्र को लगी गोली, इलाज के लिए लौटना पड़ा कीव

Russia-Ukraine War: रूस-यूक्रेन के बीच जारी जंग के बीच यूक्रेन से लौट रहे एक छात्र को गोली लगी है. उसे घायल अवस्था में वापस यूक्रेन ले जाया गया है. केंद्रीय मंत्री वीके सिंह के मुताबिक वह स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं.

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स्टोरी हाइलाइट्स
  • घायल छात्र के बारे में जानकारी जुटा रही भारत सरकार
  • यूक्रेन के पड़ोसी देशों में मौजूद हैं भारत के 4 केंद्रीय मंत्री

Russia-Ukraine War: रूस और यूक्रेन के बीच जारी जंग के बीच भारत के लिए एक और बुरी खबर सामने आई है. रूसी हमलों के बीच यूक्रेन की राजधानी कीव से लौट रहे एक भारतीय छात्र को गोली लगी है. घायल छात्र को आधे रास्ते से ही इलाज के लिए वापस कीव ले जाया गया है. पोलैंड में मौजूद केंद्रीय राज्यमंत्री वीके सिंह (VK Singh) ने बताया कि हम ज्यादा से ज्यादा भारतीय छात्रों की वतन वापसी की कोशिश में लगे हुए हैं. घायल छात्र के बारे में पता किया जा रहा है. हम इस पर नजर बनाए हुए हैं.

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भारत सरकार ने अपने 4 केंद्रीय मंत्रियों को यूक्रेन के पड़ोसी देशों में भारतीय नागरिकों को रेस्क्यू करने भेजा हुआ है. इनमें केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी, ज्योतिरादित्य सिंधिया, किरेन रिजिजू और जनरल (सेवानिवृत्त) वीके सिंह शामिल हैं. मिशन गंगा के संचालन की जिम्मेदारी के लिए वीके सिंह को पौलेंड भेजा गया है. इससे पहले वीके सिंह ने पोलैंड के गुरुद्वारा सिंह साहब में रुके 80 भारतीय छात्रों से भी मुलाकात की थी.

2 छात्रों की पहले ही हो चुकी है मौत

बता दें कि यूक्रेन और रूस के बीच जारी जंग के बीच पहले ही 2 भारतीय छात्रों की मौत हो चुकी है. 1 मार्च को यूक्रेन के खारकीव में रूस ने हवाई हमला किया था. इसमें कर्नाटक के रहने वाले नवीन शेखरप्पा नामक छात्र की मौत हो गई थी. इसके बात विदेश मंत्रालय ने कहा था कि वे छात्र के शव को भारत लाए जाने की कोशिश कर रहे हैं.

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2 मार्च को भी यूक्रेन में एक भारतीय छात्र की मौत हुई थी. मृतक चंदन जिंदल पंजाब का रहने वाला था और 4 साल पहले मेडिकल की पढ़ाई करने यूक्रेन गया था. वह 2 फरवरी को अचानक बीमार पड़ गया था. इसके बाद उसे आईसीयू में एडमिट करवाया गया था. हालांकि, विदेश मंत्रालय ने कहा था कि चंदन की मौत नेचुरल डैथ है. यूक्रेन में स्थित भारतीय दूतावास हमारे नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी करता रहा है. दूतावास ने इससे पहले किसी भी हालत में कीव और खारकीव छोड़कर कहीं और पहुंचने की अपील की थी.

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