सौर पैनल घोटाले को लेकर माकपा नीत एलडीएफ द्वारा जारी अभियान रविवार को उस समय हिंसक हो गया जब प्रदर्शनकारियों ने केरल के मुख्यमंत्री ओमन चांडी पर पथराव कर दिया जिससे उन्हें सिर में मामूली चोटें आयीं.
घटना उस समय हुई जब मुख्यमंत्री यहां स्थित पुलिस मैदान में एक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए जा रहे थे.
प्रदर्शनकारी भारी सुरक्षा व्यवस्था के बावजूद कार्यक्रम स्थल में प्रवेश कर गए और उन्होंने चांडी की कार पर पथराव किया. इससे कार का शीशा टूट गया और उसके टुकड़े माथे पर दाहिनी आंख से थोड़ा ऊपर लगे.
इस घटना का कांग्रेस और उसके सहयोगी दलों ने व्यापक निंदा की और नेताओं ने कहा कि इस हमले से माकपा का ‘अलोकतांत्रिक दृष्टिकोण’ प्रकट हुआ है और यह स्वीकार नहीं है.
चांडी ने केरल पुलिस एथलीटिक मीट के समापन समारोह में हिस्सा लिया जिसके लिए वह उत्तर केरल के राजनीतिक रूप से अशांत इस नगर में आये थे. मुख्यमंत्री के प्रवक्ता ने बताया कि चिकित्सकों ने बाद में चांडी की जांच की और कहा कि उनकी चोट गंभीर नहीं है.
गृह मंत्री तिरूवंचूर राधाकृष्णन ने इस घटना की निंदा करते हुए आयोजन स्थल पर मौजूद पुलिस महानिदेशक के एस बालसुब्रमण्यम से कहा कि वह इस घटना की रिपोर्ट दें.
एलडीएफ सौर पैनल घोटाले को लेकर चांडी के त्यागपत्र की मांग के अपने अभियान के तहत बीते कुछ महीनों से हर उस स्थान पर विरोध प्रदर्शन करता है जहां चांडी जाते हैं. चांडी के यहां कार्यक्रम के मद्देनजर सुरक्षा व्यवस्था कड़ी की गई थी. पुलिस मैदान की ओर जाने वाली सड़कों पर भारी संख्या में पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई थी.
पुलिस ने कहा कि यद्यपि एलडीएफ कार्यकर्ताओं का एक समूह सकरी गली से होते हुए मुख्यमंत्री के कार्यक्रम स्थल में प्रवेश कर गया. घटनास्थल से एलडीएफ के दो कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया गया है.
केरल प्रदेश कांग्रेस प्रमुख रमेश चेन्नीथला ने आरोप लगाया कि चांडी पर हमला एलडीएफ नेतृत्व की जानकारी में किया गया. चेन्नीथला ने कहा, ‘कन्नूर में जो कुछ हुआ उससे माकपा नेता अपने को अलग नहीं कर सकते.’ एलडीएफ सौर पैनल घोटाले की पृष्ठभूति में चांडी के त्यागपत्र की मांग कर रहा है. यह मामला एक निजी कंपनी के प्रोमोटरों द्वारा लोगों को सौर ऊर्जा विकल्प की पेशकश करके वित्तीय घोखाधड़ी करने का है.
एलडीएफ का आरोप है कि धोखाधड़ी करने वालों को चांडी और उनके कार्यालय का समर्थन प्राप्त था. सरकार ने यद्यपि न्यायिक जांच का आदेश दे दिया है एलडीएफ अपनी मांग छाड़ने को तैयार नहीं है.