सरकारी कर्मचारियों के लिए अब शक्रवार का दिन कुछ खास होने जा रहा है. उन्हें अब हर शुक्रवार को खादी पहनकर दफ्तर जाना पड़ सकता है. देशभर में खादी को प्रोमोट करने के लिए ये योजना बनाई गई है.
दरअसल देश में खादी उत्पादन को बढ़ावा देने और छोटे-छोटे बुनकरों को प्रोत्साहन देने के लिए खादी एवं ग्रामोउद्योग समिति (केवीआईसी) ने सरकार के पास ये प्रस्ताव भेजा है. फिलहाल सरकार इस पर विचार कर रही है.
खादी की बिक्री बढ़ाने का प्रयास
सरकारी सूत्रों के अनुसार शु्क्रवार के दिन खादी पहनने को अनिवार्य ना बनाकर, स्वैच्छिक रहने दिया जाएगा, लेकिन लोगों से इस तरह की अपील करने के कारण खादी की बिक्री बढ़ सकती है. एक अधिकारी ने बताया, 'अगर हर सरकारी कर्मचारी खादी से बना सिर्फ एक कपड़ा भी खरीदे तो सोचिए कि बिक्री कितनी बढ़ जाएगी.'
कर्मचारियों को खादी अपनाने में गुरेज नहीं
केंद्र सरकार में इस समय 35 लाख कर्मचारी हैं. इनमें रेलवे और रक्षाकर्मी शामिल नहीं हैं. अधिकारी भी इस योजना का विरोध नहीं कर रहे हैं. एक अधिकारी ने बताया, 'मैं ज्यादातर हैंडलूम की साड़ियां पहनती हूं. यह कोई बड़ी बात नहीं है.' एक अन्य अधिकारी ने इस योजना की तारीफ करते हुए कहा कि कई अधिकारी फैब इंडिया कंपनी की शर्ट पहनते हैं. ऐसे में वे आराम से खादी का एक कपड़ा खरीद सकते हैं. इसके अलावा केवीआईसी फैब इंडिया और रेमंड जैसी कंपनियों के साथ मिलकर अच्छी क्वालिटी की खादी बेचने की योजना बना रहा है.
खादी को और प्रोमोट करेगा केवीआईसी
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद भी खादी को बहुत पसंद करते हैं. वह खादी का इस्तेमाल काफी करते हैं. उन्होंने कई बार लोगों से खादी खरीदने की अपील भी की है. इसका असर खादी की बिक्री पर भी पड़ा है. ऐसे में केवीआईसी के लिए अपना उत्पादन बढ़ाना एक बड़ी चुनौती है. केवीआईसी सरकारी स्कूलों में बच्चों की वर्दी, रक्षाकर्मियों की वर्दी, रेलवे व एयर इंडिया में भी खादी के इस्तेमाल पर जोर देने की अपील कर रहा है.