प्रवर्तन निदेशालय द्वारा झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोडा की गिरफ्तारी ‘‘निकट ’’ है. उनके खिलाफ कथित तौर पर हवाला के जरिये करोड़ों रुपये के लेनदेन तथा अवैध निवेश के साक्ष्य ‘संतोषजनक हैं.’’
कोडा के खिलाफ हैं पर्याप्त सबूत
प्रवर्तन निदेशालय के सूत्रों ने बताया कि कोडा तथा उनके सहयोगियों के खिलाफ कथित दस्तावेजी सबूत तथा बाद में मिली जानकारी के चलते रांची के एक अस्पताल से उनकी छुट्टी के तुरंत बाद उनकी गिरफ्तारी हो जायेगी. सूत्रों ने बताया ‘‘कोडा की गिरफ्तारी निकट है. साक्ष्य संतोषजनक हैं.’’ सूत्रों ने बताया कि मामले में प्रगति के लिये जब्त दस्तावेजों तथा हलफनामों से मिली सूचना के आधार पर कोडा से विस्तृत पूछताछ की जायेगी. उन्होंने बताया ‘‘धनशोधन निवारण कानून (मनी लांड्रिंग एक्ट) की धारा 19 के तहत गिरफ्तारी हो सकती है.
नोटिस भेजने की तैयारी में प्रवर्तन निदेशालय
आयकर विभाग तथा प्रवर्तन निदेशालय के अधिकारी कोडा की मेडिकल रिपोर्ट और फिर उन्हें अस्पताल से छुट्टी मिलने का इंतजार कर रहे हैं.’’ इसबीच आयकर विभाग के अधिकारी अभी भी कोडा तथा उनके सहयोगियों की सम्पत्ति को सील करने में लगे हैं. तलाशी 31 अक्टूबर को शुरू हुई थी. प्रवर्तन निदेशालय कोडा के कुछ अन्य सहयोगियों तथा दस्तावेजों को पेश करने के लिये नोटिस भेजने की तैयारी भी कर रहा है.
जल्द शुरू होगी कुर्की की प्रक्रिया
आयकर तथा प्रवर्तन निदेशालय जल्द सम्पत्ति की कुर्की की प्रक्रिया भी शुरू करेंगे. इससे पूर्व प्रवर्तन निदेशालय ने कोडा और उनके सहयोगियों को कथित हवाला लेनदेन तथा निवेशों के मामले में पूछताछ के लिये सम्मन जारी किये थे. दोनों विभागों ने कोडा तथा उनके सहयोगियों द्वारा 2000 करोड़ रुपये से अधिक के कथित हवाला लेनदेन तथा निवेशों से जुड़े दस्तावेजों की जांच का काम शुरू कर दिया है. प्रवर्तन निदेशालय ने पांच अन्य व्यक्तियों के अलावा कोडा उनके कैबिनेट सहयोगियों कमलेश सिंह, भानु प्रताप शाही तथा भांडू तिर्की के खिलाफ रांची स्थित धनशोधन निवारण कानून अदालत में इनफार्मेशन रिपोर्ट (प्राथमिकी के तुल्य) दायर की है.