पश्चिम बंगाल के पश्चिमी मिदनापुर जिले के पिंग्ला में बुधवार रात एक पटाखा कारखाने में विस्फोट से 11 लोगों की मौत हो गई और सात घायल हो गए. यह जानकारी पुलिस ने गुरुवार को दी.
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मामले की जांच की जिम्मेदारी आपराधिक जांच विभाग (सीआईडी) को सौंपने की घोषणा कर दी है, लेकिन बीजेपी ने घटना की राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) से जांच कराने की मांग की है और दावा किया है कि यह आतंकवादी घटना है.
पुलिस अधीक्षक भारती घोष ने बताया, 'पटाखा कारखाने में विस्फोट से 11 लोगों की मौत हो गई और सात लोग घायल हो गए. घायलों की हालत नाजुक है, मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है.' कारखाने का मालिक राजन मैती को गिरफ्तार कर लिया गया है.
खड़गपुर के उप-मंडलीय पुलिस अधिकारी संतोष मंडल ने बताया, 'हमने मैती को गिरफ्तार किया है. हमें यह शिकायत मिली है कि कारखाना अवैध था और इसका इस्तेमाल बम बनाने के लिए किया जा रहा था. हम सभी पहलू पर ध्यान दे रहे हैं.' ममता ने दक्षिण 24 परगना के नामखाना में सरकारी कार्यक्रम के दौरान कहा कि सीआईडी इस मामले की जांच करेगी.
उन्होंने कहा, 'घटना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है और हमने सीआईडी जांच के आदेश दिए हैं. हम सिविक पुलिस वॉलिंटियर से अपील करते हैं कि वह और चौकस हो और लोगों के जीवन को खतरे में डालने वाली गतिविधि के बारे में पुलिस को जानकारी दें.' इधर, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपाध) और कांग्रेस ने सत्तारूढ़ पार्टी पर घटना में शामिल होने का आरोप लगाया, जबकि बीजेपी ने एनआईए से जांच की मांग की.
प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष राहुल सिन्हा ने कहा, 'यह पहली घटना नहीं है, बल्कि पिछले साल बर्दवान में हुए घटना का विस्तार है, जिसमें आतंकवादी संगठन जमात-उल-मुजाहिद्दीन शामिल था. हम सभी जानते हैं कि पुलिस मामले को सुलझाने में कभी कुछ नहीं करेगी, इसलिए हम घटना की एनआईए से जांच कराए जाने की मांग करते हैं.'
माकपा के पूर्व सांसद सुजोन चक्रबर्ती और कांग्रेस नेता अब्दुल मन्नान ने भी तृणमूल पर घटना में शामिल होने का आरोप लगाया और यह दावा किया कि कारखाने का इस्तेमाल बम बनाने के लिए हो रहा था. माकपा के राज्य सचिवालय के सदस्य चक्रबर्ती ने कहा, 'यह पटाखा बनाने वाला कारखाना नहीं बल्कि बम बनाने वाला कारखाना था. हमें खबर है कि यहां से बनाए गए बमों को तृणमूल के गुंडों ने पूरे राज्य में वितरित किया है और इसका इस्तेमाल हाल के नगरनिगम चुनाव में भी हुआ है.'
कांग्रेस नेता अब्दुल मन्नान ने भी सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस को राज्य में आतंकवाद की बढ़ती घटनाओं के लिए जिम्मेदार ठहराया. स्थानीय निवासी हालांकि, यह दावा कर रहे हैं कि हताहतों की संख्या ज्यादा हो सकती है, क्योंकि कारखाने का इस्तेमाल बम बनाने के लिए होता था.
एक निवासी ने कहा, 'हम पुलिस से अवैध कारखाने को लेकर शिकायत करते रहे हैं और कार्रवाई की मांग की है, लेकिन उन्होंने कभी ध्यान नहीं दिया. अगर पुलिस कार्रवाई करती, कई लोगों की जान बचाई जा सकती थी.'
स्थानीय निवासी का दावा है कि राजन मैती तृणमूल नेता हैं, जबकि सत्तारूढ़ पार्टी ने इस आरोप से इंकार किया है. तृणमूल के जिला नेता अजीत मैती ने कहा, 'राजन मैती पहले पार्टी सदस्य थे, लेकिन अब उनसे हमारा कोई नाता नहीं है.'
इनपुट: भाषा