कांग्रेस महासचिव जनार्दन द्विवेदी ने कहा है कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के बीच रिश्ते अच्छे हैं. और ऐसा रिश्ता कभी नहीं देखा गया. उन्होंने कहा कि ऐसा रिश्ता भविष्य के लिए भी आदर्श है और यही मॉडल आदर्श है.
दरअसल कुछ दिनों पहले दिग्विजय सिंह ने कहा था कि प्रधानमंत्री और कांग्रेस अध्यक्ष अलग-अलग होने का मॉडल कारगर साबित नहीं हुआ है. और जनार्दन द्विवेदी ने पीएम और सोनिया के रिश्तों को बेहतर बताकर दिग्विजय सिंह को जवाब दे रहे थे.
जनार्दन द्विवेदी के इस बयान के कई मायने हैं. एक मतलब तो यह है कि कांग्रेस अगले लोकसभा चुनाव में सोनिया और मनमोहन की जोड़ी के नेतृत्व में उतरेगी. यानी मनमोहन सिंह अगले चुनाव में भी कांग्रेस के पीएम पद के उम्मीदवार हो सकते हैं. वहीं इसी मॉडल पर चिदंबरम-सोनिया की जोड़ी, नए फॉर्मूले के तौर पर उभर सकती है.
गौरतलब है कि इन कयासों को बल कांग्रेस के अन्य नेताओं के बयान से भी मिल रहा है. गृह राज्यमंत्री आरपीएन सिंह का कहना है कि दोनों ही नेताओं के बीच बेहतरीन सामंजस्य है, इसी वजह से पिछले 9 सालों में यूपीए ने बेहतरीन काम किया है.
पार्टी प्रवक्ता रेणुका चौधरी ने कहा कि दोनों के बीच बढ़िया रिश्ता है और रहेगा. जहां तक पीएम पद की बात है तो पार्टी में 2014 में इसपर फैसला करेगी.
हालांकि कांग्रेस नेताओं की यह वाहवाही विपक्ष के गले नहीं उतर रही है. जदयू नेता देवेश चंद्र ठाकुर ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, 'सोनिया और मनमोहन की जोड़ी भ्रष्टाचार और महंगाई पर काबू पाने में नाकाम रही है.'
बयानबाजी के इस दौर ने राहुल गांधी की भूमिका को लेकर संशय पैदा कर दिया है. दरअसल, कांग्रेस पार्टी के अंदर 2014 लोकसभा चुनाव के मद्देनजर राहुल गांधी को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित करने के लिए बयानबाजी होती रहती है. ऐसे में कांग्रेस महासचिव का यह बयान राहुल गांधी की भूमिका को लेकर कुछ हद तक गुमराह करता है.