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VK सिंह के बचाव में आए सुब्रमण्यम स्वामी, कहा- मंत्री से नाखुश हैं भ्रष्ट लोग

सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह सुहाग ने इसी हफ्ते केंद्रीय राज्य मंत्री वीके सिंह के खिलाफ हलफनामा दायर दिया था. इसमें कहा गया है कि 2012 में सेना प्रमुख रहते हुए वीके सिंह ने ने उन्हें प्रताड़ित किया था, ताकि वह आर्मी कमांडर ना बन सके.

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सुब्रमण्यम स्वामी
सुब्रमण्यम स्वामी

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बीजेपी नेता सुब्रमण्यम स्वामी सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह सुहाग द्वारा दायर किए गए हलफनामे के मामले में वीके सिंह के साथ खड़े हो गए हैं. स्वामी ने केंद्रीय मंत्री का बचाव करते हुए कहा कि वीके सिंह से सेना के कुछ भ्रष्ट अफसर लगातार हमले कर रहे हैं. वह उनके खिलाफ एक अभियान चला रहे हैं. स्वामी का कहना है कि सरकार को जनरल वीके सिंह के बचाव में आना चाहिए, क्योंकि वह मंत्री हैं और अपना बचाव खुद नहीं कर सकते.

सेना प्रमुख जनरल दलबीर सिंह सुहाग ने इसी हफ्ते केंद्रीय राज्य मंत्री वीके सिंह के खिलाफ हलफनामा दायर दिया था. इसमें कहा गया है कि 2012 में सेना प्रमुख रहते हुए वीके सिंह ने ने उन्हें प्रताड़ित किया था, ताकि वह आर्मी कमांडर ना बन सके. सुहाग ने वीके सिंह पर आरोप लगाया था कि उन्होंने मन माने ढंग से उनका प्रमोशन रोकने की कोशिश भी की. इन आरोपों को लेकर सुब्रमण्यम स्वामी का कहना है कि वीके सिंह ने सेना प्रमुख रहते हुए हथियारों की खरीद में दलाली को उजागर किया था. इसलिए कुछ भ्रष्ट लोग उनसे खुश नहीं है और ऐसे आरोप लगा रहे हैं.

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2012 में सुहाग पर हुई थी कार्रवाई
साल 2012 में सुहाग पर भी कार्रवाई हुई थी. सुहाग को असम के जोरहट में साल 2011 में 20- 21 दिसंबर की रात खुफिया और सर्विलेंस की 3 यूनिट का अभियान चलाना था. इसमें नाकाम होने पर उनके खिलाफ कोर्ट ऑफ इंक्वायरी के ऑर्डर दिए गए थे. इस पर स्वामी ने वीके सिंह का बचाव करते हुए कहा कि डिसिप्लिन और विजिलेंस बैन सिर्फ विजिलेंस ब्रांच नहीं देखती, बल्कि इसकी जांच ऊंचे स्तर पर भी होती है. तीन निकायों के डीवी बैन की सिफारिश के बाद ही यह बैन लगाया जा सकता है.

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