शिवसेना ने रविवार को मुखपत्र सामना में देश के मुसलमानों से मताधिकार छीनने की मांग की. संजय राउत के लेख पर AIMIM चीफ असदउद्दीन ओवैसी ने न सिर्फ पलटवार किया है बल्कि कानून व्यवस्था पर भी सवाल उठाए हैं. ओवैसी ने कहा कि शिवसेना भारत को हिंदू राष्ट्र बनाना चाहती हैं और यही उसका असली चरित्र है.
आजतक से एक्सक्लूसिव बातचीत में आवैसी ने कहा कि देश में कानून तो है लेकिन उसके तहत कार्रवाई सिलेक्टिव तरीके से होती है. ओवैसी से जब पूछा गया कि मामले में क्या कार्रवाई होनी चाहिए तो उन्होंने कहा, 'मुझे पता है इस ओर कोई कार्रवाई नहीं होगी. देश में कानून तो एक है लेकिन कार्रवाई सिलेक्टिव तरीके से होती है.'
ओवैसी ने कहा कि चुनाव आयोग को इस मामले को संज्ञान में लेना चाहिए और प्रधानमंत्री मोदी को भी इस पर ध्यान देना चाहिए.
गौरतलब है कि संजय राउत ने रविवार को पार्टी के मुखपत्र 'सामना' में लिखा था कि मुसलमानों से मताधिकार वापस ले लेना चाहिए, तब जाकर देश में मुस्लिम वोट बैंक की राजनीति खत्म होगी. यही नहीं, राउत ने अपने लेख में एआईएमआईएम के ओवैसी बंधुओं को 'संपोला' बताया था.
लखवी के खिलाफ लिखने की हिम्मत नहीं
औवेसी ने कहा, 'शिवसेना में मुंबई हमले के मास्टरमाइंड जकीउर रहमान लखवी के खिलाफ लिखने की हिम्मत नहीं है. बीजेपी और शिवसेना की कथनी और करनी में अंतर है. बीजेपी-शिवसेना सरकार महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण लागू कराने के पीछे पड़ी है, जबकि उन्होंने महाराष्ट्र में मुस्लिम आरक्षण लागू नहीं होने दिया.'
मोदी कुछ बोलते हैं और उनके साथी कुछ
एआईएमआईएम चीफ ने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधानमंत्री विदेश में जाकर भाईचारा और सभी धर्मों को समान अधिकार की बात करते हैं, लेकिन देश में उनके घटक और साथ कुछ और बयान देते हैं. आवैसी ने कहा, 'वोट देना मुसलमानों का संवैधानिक आधिकार है और अगर कोई यह कहे कि यह अधिकार ही छीन लिया जाए तो ऐसे इसे पागलपन ही कहेंगे.'
नकवी और हेपतुल्ला के अधिकारों का क्या
आवैसी ने कहा कि शिवेसना मोदी सरकार की घटक है. अगर वह ऐसी बात करती है तो जिस कैबिनेट में अनंत गीते हैं, वहीं नजमा हेपतुल्ला और मुख्तार अब्बास नकवी भी हैं. क्या पार्टी उनसे भी वोट देने का अधिकार छीन लेगी.'
शिवसेना की सदस्यता रद्द की जाए
सामना में छपे विवादित लेख का मुद्दा तूल पकड़ता जा रहा है. आम आदमी पार्टी नेता आशुतोष ने राउत के बयान की निंदा करते हुए शिवसेना की मान्यता रद्द करने की मांग की है. आशुतोष ने आरोप लगाया है कि राउत ने ये बयान पीएम नरेंद्र मोदी की जानकारी में ही दिया है.