चीन द्वारा भारतीय सीमा में घुसपैठ के बाद भारतीय विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद चीनी दौरे पर हैं और इस दौरान वे यह भी जान नहीं पाए कि आखिर चीन ने घुसपैठ क्यों की. उन्होंने कहा कि चीन ने हाल ही में लद्दाख में की गई घुसपैठ के लिए कोई कारण नहीं बताया है. बता दें कि घुसपैठ की इस घटना से दोनों देशों के संबंध प्रभावित हुए हैं.
खुर्शीद और उनके चीनी समकक्ष वांग यी के बीच बातचीत में घुसपैठ के मुद्दे पर चर्चा हुई. इस दौरान दोनों पक्षों ने इस मुद्दे के अपने समाधान पर संतोष जताया. दोनों देशों के बीच इस मुद्दे पर विस्तृत चर्चा हुई कि आखिर चीनी सेना दौलत बेग सेक्टर में भारतीय सीमा के 19 किलोमीटर भीतर तक कैसे घुस आई थी.
यह पूछे जाने पर कि चीनी सेना ने घुसपैठ क्यों की थी और क्या इस बाबत कुछ स्पष्ट हो पाया है? इस पर खुर्शीद ने कहा, ‘स्पष्ट कहूं तो मैंने यह चाहा भी नहीं. हम अपने विश्लेषण के साथ तैयार नहीं हैं. जिस तरह से हमने जवाब दिया वह हमारे सामने स्पष्ट है. यह स्पष्ट नहीं है कि ऐसा क्यों हुआ. वे उस पृष्ठभूमि की पेशकश नहीं कर रहे थे और अभी हम भी इस बारे में नहीं पूछ रहे.’
खुर्शीद ने कहा कि ज्यादा अहम बात यह है कि न सिर्फ दोनों पक्ष संतोषजनक तरीके से इसके समाधान में सफल रहे बल्कि यह भी सीखा कि किस तरह यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि ऐसी घटना भविष्य में न हों और यदि हों भी तो उनसे निपटा किस तरह जाए.
यह पूछे जाने पर कि क्या चीन ने उकसाने वाली बात मानी, इस पर खुर्शीद ने कहा, ‘आप किसी देश से यह कहने की उम्मीद नहीं कर सकते कि उसने उकसाया. यह दूर-दराज के इलाके में हुआ. सरकार को संदेश देने के लिए इसे लंबा खींचा गया. इसके विश्लेषण में थोड़ा वक्त लगेगा.’ मंत्री ने कहा कि इस वक्त यह सही नहीं है कि उनके और हमारे बीच जिम्मेदारी बांटी जाए.
खुर्शीद ने कहा, ‘निश्चित तौर पर उस घटना ने इन सारी चीजों को प्रभावित किया है. यह एक झटका होता. लिहाजा हमें खुशी है कि इसे सही तरीके से सुलझाया गया.’
चीन-पाकिस्तान करार का मुद्दा भी उठा
विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद ने कहा कि चीन को पाकिस्तान के साथ अपने नजदीकी संबंधों का असर चीन-भारत के संबंधों पर नहीं पड़ने देना चाहिए.
खुर्शीद से जब पूछा गया कि क्या उन्होंने पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में चीन की परियोजना का मुद्दा अपने समकक्ष वांग यी के समख उठाया, तो उन्होंने कहा, ‘हम मानते हैं कि आपका (चीन) पाकिस्तान के साथ संबंध है. पाकिस्तान के साथ संबंधों का हम सम्मान करते हैं, लेकिन इसका इस्तेमाल भारतीय हितों के खिलाफ न हो.’
विदेश मंत्री ने कहा कि हमने उनसे कहा कि उनका पाकिस्तान के साथ संबंध है. यह हमें उनसे अपन रिश्ते विकसित करने से नहीं रोकते. हमने उनसे बस आग्रह किया कि भारत के नुकसान के आधार पर किसी को भी अपने संबंधों का इस्तेमाल करने की अनुमति नहीं दी जाए.
खुर्शीद ने कहा, ‘मैंने पाकिस्तान के परमाणु कार्यक्रम का उल्लेख किया. मैंने विदेश मंत्री से यह भी कहा कि हमारा संबंध दुनिया और एशिया में दो महत्वपूर्ण देशों का संबंध है जैसा कि उन्होंने उल्लेख किया.
विदेश मंत्रालयों के बीच सहयोग बढ़ाएंगे भारत-चीन
भारत और चीन ने एक-दूसरे के विदेश मंत्रालयों के बीच सहयोग बढ़ाने के मकसद से गुरुवार को एक नए प्रोटोकॉल पर दस्तखत किए. मीडिया को सही समय पर सूचना मुहैया कराने में समन्वय कायम करने के तंत्र पर काम करने के दौरान प्रोटोकॉल पर दस्तखत किए गए.
विदेश मंत्री सलमान खुर्शीद और उनके चीनी समकक्ष वांग यी ने जिस प्रोटोकॉल पर हस्ताक्षर किए, वह दरअसल 2006 में हस्ताक्षरित इसी तरह के एक प्रोटोकॉल का उन्नत संस्करण है. नए प्रोटोकॉल में दोनों देशों ने नए वार्ता तंत्र को सूचीबद्ध किया है.
नए प्रोटोकॉल में उन नई बातचीत को सूचीबद्ध किया गया है जो दोनों देशों के बीच हुई हैं. खुर्शीद ने कहा कि दोनों देश दोनों विदेश मंत्रालयों के प्रवक्ताओं के बीच समन्वय का एक ऐसा नया तंत्र विकसित करने की दिशा में काम कर रही हैं जिससे मीडिया को सही समय पर सूचना मुहैया कराया जा सके.
विदेश मंत्रालय की प्रचार शाखा के महानिदेशक क्विंग गांग की अध्यक्षता में एक चीनी प्रतिनिधिमंडल अगले कुछ दिनों में नई दिल्ली का दौरा करेगा, ताकि नए तंत्र को अंतिम रूप दिया जा सके.