अगर आपकी सालाना कमाई पांच लाख से कम है और आपने अभी तक अपना इनकम टैक्स रिटर्न फाइल नहीं किया है तो जल्दी से टैक्स रिटर्न भरें क्योंकि इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने पांच लाख रुपये से कम कमाई वाले तबके के लिए भी रिटर्न भरना अनिवार्य कर दिया है.
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने पांच लाख रुपये सालाना आय वालों के लिये पहले ही इलेक्ट्रॉनिक रिटर्न फाइलिंग को अनिवार्य बना दिया है. इस संबंध में मई 2013 में अधिसूचना जारी की जा चुकी है. अब पांच लाख रुपये से कम कमाई करने वाले तबके को भी रिटर्न भरना होगा जिसके लिये सिटी सेंटर स्थिति इनकम टैक्स बिल्डिंग में विशेष काउंटर लगाये जायेंगे.
आपकी वेतन अथवा दूसरे स्रोतों से सालाना आय यदि पांच लाख रुपये अथवा इससे अधिक है तो आयकर रिटर्न इलेक्ट्रोनिक तरीके से भरनी होगा. इसके लिए देश भर में फैले करीब 7000 प्रशिक्षित एवं पंजीकृत रिटर्न तैयार करने वाले टीआरपी की मदद ली जा सकती है.
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने लोगों को रिटर्न भरने में मदद देने के लिये कुछ साल पहले टैक्स रिटर्न प्रिपेयर्स (टीआरपी) योजना शुरू की थी. टीआरपी इनकम टैक्स डिपार्टमेंट से प्रशिक्षण प्राप्त प्रमाणीकृत पेशेवर हैं जो लोगों की कर रिटर्न दाखिल करने में मदद करते हैं. रिटर्न ‘फाइल’ करने की इनकी फीस सरकार ने तय की है जो 250 रुपये है.
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट ने स्पष्ट किया है कि आम नौकरीपेशा आयकरदाता के लिये रिटर्न भरने की अंतिम तिथि 31 जुलाई है. कंपनियों और भागीदारी फर्म जिनके खाते आयकर अधिनियम के तहत ऑडिट करने जरूरी होती है उनके लिये रिटर्न भरने की अंतिम तिथि 30 सितंबर तय है.
कंपनियों के लिये इलेक्ट्रानिक तरीके से रिटर्न भरने को पहले ही अनिवार्य बनाया जा चुका है. केवल इनकम टैक्स रिटर्न (आईटीआर) फार्म-सात में रिटर्न भरने वालों को इससे छूट दी गई है. उनके लिये इलेक्ट्रॉनिक फाइलिंग अनिवार्य नहीं है. धर्मार्थ न्यास, चरिटेबल ट्रस्ट, स्कूल, कालेज आदि आईटीआर-सात में रिटर्न दाखिल करते हैं.
इनकम टैक्स डिपार्टमेंट सूत्रों के अनुसार आयकर निर्धारण वर्ष 2013-14 के लिये कोई नये फार्म जारी नहीं किये गये हैं, आईटीआर फार्म ही इस साल के लिये अधिसूचित किये गये हैं.
सीबीडीटी ने कहा है कि सरकारी वेतनभोगी, स्कूल, कालेज, सार्वजनिक उपक्रमों, निजी क्षेत्र से वेतन पाने वालों सभी के लिये अलग काउंटर लगाये जायेंगे. इसके अलावा सिविक सेंटर के बी और सी ब्लॉक में वरिष्ठ नागरिकों और शारीरिक तौर पर अक्षम करदाताओं के लिये अलग व्यवस्था होगी.
विज्ञप्ति में स्पष्ट किया गया है कि इन काउंटरों पर केवल पांच लाख तक की आयवर्ग से ही कागजी रिटर्न प्राप्त किया जाएगा. पांच लाख से अधिक आय वर्ग का रिटर्न इन विशेष काउंटरों पर नहीं लिया जाएगा, क्योंकि इस प्रकार का रिटर्न केवल इलेक्ट्रॉनिक प्रणाली के जरिये ही भरा जाना है.