पूर्व सैनिकों के बाद अब पूर्व अर्धसैनिकों ने भी वन रैंक वन पेंशन की मांग कर डाली है. अर्द्धसैन्य बलों का कहना है कि वह ही सीमा पर पहली रक्षा पंक्ति में होते हैं और सेना से ज्यादा विषम परिस्थितियों में काम करते हैं. ऐसे में उन्हें भी 'वन रैंक वन पेंशन' का लाभ मिलना चाहिए.
पूर्व अर्धसैनिकों ने 2 नवंबर को जंतर मंतर पर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठने की भी योजना बनाई है. बिल्कुल ठीक वैसा ही हथकंडा अपनाने की धमकी दी है जैसा केन्द्र सरकार से अपनी बात मनवाने के लिए पूर्व सैनिकों ने अपनाया था.
सश्स्त्र बलों की तर्ज पर अर्धसैनिको ने ऐसे समय में OROP की मांग को लेकर प्रदर्शन की धमकी दी है जब बिहार में चुनाव होने वाले हैं और केन्द्र में सत्ताधारी बीजेपी बिहार में जीत का परचम लहराने के लिए हर मुमकिन काम कर रही है. गौरतलब हो कि अर्धसैनिक बलों में बिहार के लोगों की संख्या काफी ज्यादा है.
ऑल इंडिया सेंट्रल पैरामिलिट्री फोर्सेज एक्स सर्विसमैन वेल्फेयर एसोसिएशन (AICPMFEWA) के राष्ट्रीय सचिव पीएस नायर ने प्रदर्शन के फैसले को अडिग बताते हुए कहा कि 'मां भी तब तक बच्चे को दूध नहीं पिलाती जब तो वह नहीं रोता.'