सुप्रीम कोर्ट में गन्ना किसानों की हालत को लेकर एक जनहित याचिका दायर की गई है. जिस पर सुप्रीम कोर्ट ने चिंता जताते हुए केंद्र को सरकार को नोटिस भेजकर जवाब मांगा है.
दरअसल गन्ना किसान फसल की सही कीमत न मिलने पर कर्ज में डूब रहे हैं, जिसके चलते वो आत्महत्या करने के लिए मजबूर हो रहे हैं. उनकी इस हालत पर कंसोर्टियम ऑफ इंडियन फार्मर्स एसोसिएशन ने सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर की जिसमें कहा गया है कि किसानों को उनकी फसलों की सही कीमत नहीं मिल रही और जो कीमत है वह भी उन्हें तय समय पर नहीं मिलती जिससे वो कर्ज में डूब जाते हैं और फिर आत्महत्या करते हैं, पिछले कुछ समय से किसानों द्वारा आत्महत्या करने की घटनाएं बढ़ रहीं हैं.
इस याचिका को लेकर सर्वोच्च न्यायालय ने केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर 6 हफ्ते में जवाब मांगा है. याचिका में यह भी कहा गया है कि गन्ना मिलों की हालत खराब होने के कारण वो किसानों को उनकी फसल की कीमतें समय पर नहीं दे पा रहीं. गन्ना किसानों की हालत बेहतर करने के लिए एक्सपर्ट कमेटी (कमेटी ऑफ एग्रीकल्चरल कॉस्ट एंड प्राईसेस) की सिफारिशों को जल्द लागू किया जाए और बाजार भाव से गन्ने की कीमत किसानों को दी जाए.