कांग्रेस में बदलाव की प्रक्रिया के तहत केंद्र के बाद अब राज्यों की बारी है. सूत्रों के मुताबिक करीब आधा दर्जन से ज़्यादा राज्यों के प्रदेश अध्यक्ष जल्दी ही बदल दिए जाएंगे. इसी तरह धीरे-धीरे आने वाले दिनों में बदलाव होते रहेंगे. साथ ही केंद्रीय संगठन में बदलाव का ये सिलसिला लंबा चलेगा. गौरतलब है कि बीते हफ्ते अशोक गहलोत और के सी वेणुगोपाल के तौर पर दो नए महासचिवों की नियुक्ति की गयी थी. वहीं कद्दावर महासचिव माने जाने वाले दिग्विजय सिंह से गोवा के साथ ही चुनावी राज्य कर्नाटक की ज़िम्मेदारी छीन ली गयी थी.
हर राज्य के अलग-अलग समीकरण
राहुल के करीबी माने जाने वाले 8 सचिवों की घोषणा हो गयी है. सूत्रों के मुताबिक हर राज्य के अपने-अपने समीकरण हैं, उस लिहाज से ही बदलाव होगा. पंजाब में अमरिंदर सिंह के सीएम बनने के बाद पंजाब में नया अध्यक्ष बनाया जाएगा. सूत्रों का कहना है कि, अमरिंदर की सहमति से ही जल्दी फैसला होगा. वहीं हरियाणा के वर्तमान अध्यक्ष अशोक तंवर का कार्यकाल खत्म हो रहा है. ऐसे में अब कांग्रेस भूपिंदर सिंह हुड्डा, कुलदीप विश्नोई और कुमारी शैलजा में से विधायक दल का नेता और अध्यक्ष पद का फैसला करने वाली है.
बिहार-ओडिशा को भी मिलेगा अध्यक्ष
बिहार में महागठबंधन की सरकार बनने पर कांग्रेस अध्यक्ष अशोक चौधरी मंत्री बन गए, लेकिन तब से वह इसी पद पर हैं. अब उन्हें बिहार में नया अध्यक्ष भी बनाया जाएगा. हालांकि, यूपीए सरकार में मंत्री रहे अखिलेश सिंह की दावेदारी भी मज़बूत है, लेकिन अशोक चौधरी उनके हक में नहीं हैं. वहीं ओडिशा राज्य में कांग्रेस का प्रदर्शन लगातार खराब हो रहा है और बीजेपी बढ़ रही है. ऐसे में वहां भी नया अध्यक्ष चुना जाना है.
दिल्ली और यूपी पर संशय
झारखंड कांग्रेस के वर्तमान अध्यक्ष सुखदेव भगत के नेतृत्व में पार्टी हार चुकी है, अब नया अध्यक्ष बनाया जाएगा. राज्य सरकार में मंत्री रहे के.एन त्रिपाठी, प्रदीप बालमुचू और सुबोधकांत सहाय अध्यक्ष पद की दौड़ में आगे हैं. इसके अलावा यूपी के अध्यक्ष राजबब्बर और दिल्ली के अध्यक्ष अजय माकन भी अपने पदों से इस्तीफा दे चुके हैं. ऐसे में राहुल को तय करना है कि, इनका इस्तीफा स्वीकार कर नई नियुक्ति की जाए या फिलहाल इनको ही बनाये रखा जाए. साथ ही पूर्वोत्तर में भी पार्टी के कुछ नए अध्यक्ष बनाये जाने हैं.