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महिलाओं के मुद्दे पर संसद एकजुट, उठा आरक्षण का मुद्दा

राज्यसभा में महिला दिवस के मौके पर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और सांसद अंबिका सोनी ने अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि देश में आज भी महिलाओं को बराबरी का दर्जा हासिल नहीं है, उन्होंने इसके लिए महिला आरक्षण बिल को पारित कराने पर जोर दिया.

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सदन में उठा महिला आरक्षण का मुद्दा
सदन में उठा महिला आरक्षण का मुद्दा

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संसद के बजट सत्र के दूसरे हिस्से का आज चौथा दिन है. गुरुवार को राज्यसभा और लोकसभा में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर महिलाओं को बधाई दी गई. सभी सांसदों ने तालियां बजाकर सदन में मौजूद और देश-दुनिया की महिलाओं को महिला दिवस की शुभकमनाएं दीं. इससे पहले तीन दिन तक बजट सत्र हंगामे की भेंट चढ़ गया था.

लोकसभा में सभापति सुमित्रा महाजन ने स्वरचित पंक्तियों के जरिए महिलाओं के इस खास दिन की बधाई दी. लेकिन इसके बाद सांसद वेल में आकर नारेबाजी करने लगे और सदन की कार्यवाही को  पहले 12 बजे तक और फिर दिनभर के लिए स्थगित कर दिया गया.

महिला दिवस पर चर्चा

राज्यसभा में सभापति वेंकैया नायडू ने भी देश और दुनिया की सभी महिलाओं को सदन की ओर से महिला दिवस की शुभकामनाएं दीं. इस मौके पर हंगामा कर रहे सांसदों ने अपनी सीटों पर बैठकर चर्चा में हिस्सा लिया. सरकार से लेकर विपक्ष की कई महिला सांसदों और अन्य सांसदों ने इस मु्द्दे पर अपने विचार रखे.

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विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने महिला दिवस पर सदन के भीतर कहा कि महिला आरक्षण बिल को मेरा पूरा समर्थन है. उन्होंने कहा कि आज का दिन महिलाओं की उपलब्धियों का याद करने का है और मुझे भारत में महिलाओं की उपलब्धि देखकर गर्व होता है क्योंकि यहां महिलाओं ने कई क्षेत्रों में पुरुषों के एकाधिकार को तोड़ा है.

सुषमा ने कहा कि उपलब्धियों का साथ महिलाओं के साथ हो रहा अन्याय हमें शर्मसार भी करता है. उन्होंने कहा कि आज के दिन हम संकल्प लें कि केंद्र सरकार, राज्य सरकार और पूरा समाज महिलाओं के खिलाफ अन्याय को सहन नहीं करेगा. साथ ही एक आंदोलन के रूप में इसे मिलकर आगे बढ़ाना है.

संसद से बिल पारित कराने की मांग

राज्यसभा में महिला दिवस के मौके पर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता और सांसद अंबिका सोनी ने चर्चा की शुरुआत की. उन्होंने कहा कि देश में आज भी महिलाओं को बराबरी का दर्जा हासिल नहीं है, उन्होंने इसके लिए महिला आरक्षण बिल को पारित कराने पर जोर दिया. सांसत अंबिका ने कानून के जरिए महिलाओं को सुरक्षा और सदन में 33 फीसद आरक्षण की मांग की.

कांग्रेस की सांसद रेणुका चौधरी ने भी महिला दिवस के मौके पर महिला के खिलाफ होने वाले अपराध पर लगाम लगाने पर जोर दिया. उन्होंने कहा कि महिलाओं को सदन में नहीं बल्कि हर जगह बराबरी का दर्जा मिलना चाहिए. कांग्रेस सांसद कुमारी शैलजा ने भी कहा कि महिला आरक्षण को लेकर सभी दलों के एकमत होकर एक प्रस्ताव करना चाहिए और हमारी पार्टी इसके लिए बिल्कुल तैयार है. कांग्रेस सांसद रजनी पाटिल ने भी अमृता प्रीतम की एक कविता के जरिए सदन में अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि सदन में हमें अपनी बात कहने का मौका और बराबरी का दर्जा चाहिए.

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महिला दिवस के मौके पर सदन में नेता प्रतिपक्ष गुलाम नबी आजाद ने भी अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि महिलाओं को जीवन चुनौती भरा है. आजाद ने कहा कि गर्भवती महिला से लेकर कुपोषित बच्चे के जन्म और उसके बाद जीवनभर महिलाओं की सामाजिक, आर्थिक चुनौतियों से गुजरना पड़ता है. उन्होंने कहा कि आज भी हम महिलाओं के खिलाफ अपराध को रोक नहीं पाए हैं.

काफी नहीं सिर्फ एक दिन

टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी सरकार ने महिला कल्याण की कई योजनाओं को राज्य में शुरू कर रखा है. साथ ही उन्होंने सभी पुरुषों से अपील की वो भी महिलाओं को सम्मान दें और महिला आरक्षण बिल को संसद में पारित कराने में मदद करें. डेरेक ने कहा कि हमें सिर्फ एक दिन महिलाओं के मुद्दे पर चर्चा नहीं करनी चाहिए बल्कि हर दिन उनकी सुरक्षा और कल्याण के लिए काम करने की जरूरत है. बता दें कि आरक्षण बिल राज्यसभा से पारित हो चुका है लेकिन सपा समेत कुछ दलों के विरोध के चलते बिल लोकसभा में अटका हुआ है.  

बीएसपी सांसद सतीश मिश्रा, विप्लव ठाकुर समेत कई सांसदों ने उपसभापति के पैनल में एक महिला सदस्य होने की बात पर जोर दिया. राज्यसभा के पैनल में एक भी महिला सदस्य नहीं है इसीलिए सांसदों की मांग है कि महिलाओं को भी आसन पर बैठने और सदन को चलाने का मौका मिलना चाहिए.

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बीजेपी सांसद सम्पतिया उइके, कांग्रेस सांसद छाया वर्मा, मेघालय के कांग्रेस की सांसद वानसुक साइम, कांग्रेस सांसद विप्लव ठाकुर, डीएमके सांसद कनिमोझी, आंध्र प्रदेश से टीडीपी सांसद तोटा सीताराम लक्ष्मी, मनोनीत सदस्य अनु आगा, बीजेपी सांसद रूपा गांगुली, सुब्रमण्यम स्वामी समेत कई सांसदों ने इस मुद्दे पर सदन में अपनी बात रखी. इसके बाद सभापति ने सदन की कार्यवाही को 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया. लेकिन सदन की कार्यवाही फिर से शुरू होती ही हंगामी होने लगा, इसके बाद उप सभापति ने कार्यवाही को दिनभर के लिए स्थगित कर दिया. 

संसद में आज का एजेंडा

गुरुवार को संसद के दोनों सदनों में संसद में आज संसद में बैंकिंग क्षेत्र की अनियमितताओं पर चर्चा होगी. इसमें पीएनबी बैंक घोटाला और नीरव मोदी का मुद्दा शामिल है. राज्यसभा में सांसद राजीव चंद्रशेखर इस मुद्दे पर चर्चा की शुरुआत करेंगे. वहीं लोकसभा में बिना वोटिंग के नियम 193 के तहत बैंक घोटाले पर चर्चा प्रस्तावित है.

राज्यसभा में आज पेयजन मंत्रालय की स्थायी समिति की रिपोर्ट पटल पर रखी जाएगी. इस मुद्दे पर नवीवत कृष्षन चर्चा की शुरुआत करेंगे और बीजेपी सांसद शमशेर सिंह अपनी बात सदन में रखेंगे. इसके अलावा कच्चे तेल और पेट्रोलियम उत्पादों के भंडारण पर भी ध्यानाकर्षण प्रस्ताव पेश किया जाएगा.

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राज्यसभा में मोटर यान विधेयक को भी पारित किया जाना है, इसमें ट्रैफिक नियमों तोड़ने पर सख्त जुर्माने जैसे कई प्रावधान शामिल हैं. वित्त मंत्री अरुण जेटली आज राज्यसभा में स्टेट बैंक (निरसन और संशोधन) विधेयक पेश कर सकते हैं. सरकार की कोशिश होगी कि ये विधेयक सदन से पारित हो सके. इस विधेयक में बैंकों के विलय के बाद उनके तर्कसंगत इस्तेमाल पर जोर दिया गया है.

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