पूर्वोत्तर में जबरदस्त जीत दर्ज करने के बाद भारतीय जनता पार्टी का पूरा ध्यान अब कर्नाटक के चुनाव पर है. बीजेपी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में आक्रामक रुख के साथ राज्य में उतरेगी. पीएम मोदी करीब 15 से 20 रैलियां कर सकते हैं. हालांकि, अभी पीएम मोदी की रैलियों को तारीख तय नहीं हुई है.
पार्टी सूत्रों के मुताबिक, पीएम मोदी का पूरा चुनावी कैंपेन तैयार किया जा रहा है. पार्टी की कोशिश है कि पीएम मोदी की अधिक से अधिक रैली करवाई जाए ताकि माहौल उनके पक्ष में बन सके. गौरतलब है कि कर्नाटक में मार्च के आखिर या अप्रैल में चुनाव हो सकते हैं.
गौरतलब है कि त्रिपुरा में लेफ्ट के 25 साल पुराने किले को ढहाने के साथ-साथ नगालैंड और मेघालय में भी बीजेपी सरकार में शामिल हुई है. पूर्वोत्तर में जीत के साथ ही बीजेपी के हौसले बुलंद हैं.
सोमवार को जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद भवन पहुंचे तो पार्टी अध्यक्ष अमित शाह समेत कई बड़े नेताओं ने उनका स्वागत किया. इस दौरान पार्टी नेताओं ने नारे भी लगाए कि 'नॉर्थ ईस्ट तो जीत लिया अब कर्नाटक की बारी है'.
कर्नाटक के प्रभारी बनाए गए केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर को लगता है कि कर्नाटक की जनता कांग्रेस से उब चुकी है और बदलाव के मूड में है. इसलिए कर्नाटक में वह आसानी से जीत लेंगे, सिद्धारमैया यहां कोई फैक्टर नहीं है. पार्टी कर्नाटक के लिए आक्रामक रुख में कैंपेन की रणनीति बना रही है, तमाम बड़े मंत्रियों के दौरे वहां पर करवाए जा रहे हैं.
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अभी तक कर्नाटक में कुछ दौरे कर चुके हैं. हाल ही में कर्नाटक में बीजेपी के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार बीएस. येदियुरप्पा के 75वें जन्मदिन के मौके पर रैली को संबोधित किया था. रैली में पीएम मोदी ने सीधे तौर पर कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया पर निशाना साधा था. पीएम ने कहा था कि कर्नाटक में सिद्धारमैया नहीं बल्कि सीधा रुपया की सरकार है.
आपको बता दें कि 2013 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 122 सीटें मिली थीं. जबकि जनता दल (सेक्यूलर) को 40, बीजेपी को 40, केजेपी को 6, निर्दलीयों को 9 और अन्य के खाते में 7 सीटें गई थीं.