भारतीय रेलवे अपने घाटे की भरपाई के लिए नए-नए तरीके अपना रही है. किराए के अलावा अन्य स्रोतों से पैसा कमाने की योजना पर काम कर रही रेलवे अब पूरे देश में स्टेशनों पर जमा होने वाले कचरे को बेचने की तैयारी में है.
किराए के अतिरिक्त स्रोतों से रेवेन्यू जेनरेट करने के लिए उपाय तलाशने के काम में शामिल रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, 'हम एक कचरा प्रबंधन समूह के प्रस्ताव का अध्ययन कर रहे हैं, जिसने रेलवे स्टेशनों पर इकट्ठा होने वाले कचरे को डेढ़ रुपये प्रति किलोग्राम में खरीदने की पेशकश की है.'
रेलवे ने यात्री किरायों और मालभाड़े के अतिरिक्त स्रोतों से राजस्व प्राप्त करने के तरीके खोजने के लिए एक अलग गैर-किराया राजस्व निदेशालय बनाया है. कचरा प्रबंधन कंपनी 24 घंटे स्टेशनों से कचरा एकत्रित करेगी.
कचरा उठाने वाले कर्मचारियों का होगा बीमा
अधिकारी ने कहा, 'कचरे को एकत्रित करना और उसका निस्तारण करना कंपनी की जिम्मेदारी है. उर्जा और खाद पैदा करने के लिए इस कचरे का इस्तेमाल किया जाएगा.' प्रस्ताव के मुताबिक, कचरा एकत्रित करने में शामिल कर्मचारियों के बीमे की और स्टेशनों पर कचरापेटियों से इसे ले जाने के लिए काले प्लास्टिक बैगों के प्रावधानों की जिम्मेदारी कचरा प्रबंधन कंपनी की होगी.
फिलहाल 12 स्टेशनों से उठाया जाएगा कचरा
कंपनी ने 12 स्टेशनों पर कचरा इकट्ठा करने के काम की पेशकश की है, जिनमें अमृतसर, अंबाला, हरिद्वार, जम्मू, कटरा, देहरादून, मुरादाबाद, सहारनपुर, सीएसटी, मुंबई सेंट्रल और दादर हैं.