प्रधानमंत्री पद के लिए नरेंद्र मोदी के नाम पर एक तरह से संघ ने अपनी मुहर लगा दी है. मोदी का नाम लिए बगैर पहली बार संघ के नेता राम माधव ने इस बारे में खुलकर बात की है.
राम माधव ने कहा कि संघ ने बीजेपी को अपनी इच्छा बता दी है, फैसला बीजेपी को करना है. उन्होंने यह भी कहा कि मोदी के नेतृत्व के बाद देश में बदलाव आएगा.
इस बीच मोदी को प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार के रूप में पेश किये जाने के बारे में लगता है कि संघ और बीजेपी में सहमति बन गई है और अगले सप्ताह पार्टी के शीर्ष निर्णय करने वाली संसदीय बोर्ड की बैठक में इसकी घोषणा की जा सकती है.
बीजेपी के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी और सुषमा स्वराज की आपत्तियों के बावजूद समझा जाता है कि मोदी को औपचारिक रूप से प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित किये जाने का फैसला ले लिया गया है. आडवाणी और सुषमा चाहते थे कि कम से कम मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़, राजस्थान और दिल्ली में होने वाले विधानसभा चुनाव तक यह फैसला टाल दिया जाए.
सोमवार को समाप्त हुए संघ परिवार के शीर्ष नेतृत्व की दो दिवसीय बैठक में ऐसे संकेत मिले हैं कि गुजरात के मुख्यमंत्री को प्रधानमंत्री के उम्मीदवार के रूप में पेश किये जाने को हरी झंडी मिल गई है. इस बारे में बीजेपी 19 सितंबर तक कोई घोषणा कर सकती है.