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सरकारी पैसे से नहीं आती हैं मोदी की पोशाकें, RTI में मिला जवाब

आरटीआई एक्ट‍िविस्ट रोहित सभरवाल ने आरटीआई के जरिए यह जानकारी मांगी थी कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और मनमोहन सिंह द्वारा पहनी गई पोशाकों पर कितना सरकारी खर्च आया है.

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पीएम मोदी
पीएम मोदी

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी पहनी पोशाकें हमेशा चर्चा का विषय बनती हैं. इसी को लेकर आरटीआई से एक बात सामने आई है. आरटीआई में मिले जवाब के अनुसार पीएम नरेंद्र मोदी की पोशाकों पर सरकार एक पैसा नहीं खर्च करती है.

आरटीआई एक्ट‍िविस्ट रोहित सभरवाल ने आरटीआई के जरिए यह जानकारी मांगी थी कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी और मनमोहन सिंह द्वारा पहनी गई पोशाकों पर कितना सरकारी खर्च आया है.

अंग्रेजी वेबसाइट टाइम्स ऑफ इंडिया के अनुसार इसके जवाब में पीएमओ ने कहा कि यह सवाल व्यक्तिगत है और इसकी जानकारी पीएमओ के सरकारी दस्तावेत में नहीं दर्ज है. साथ ही पीएमओ ने यह भी कहा कि प्रधानमंत्रियों की व्यक्तिगत पोशाकों के लिए सरकारी अकाउंट से पैसे खर्च नहीं किए जाते हैं.

अंग्रेजी वेबसाइट को दिए गए इंटरव्यू में सभरवाल ने कहा कि लोग यह सोचते हैं कि पीएम के पोशाकों पर सरकार काफी खर्च करती है. खासकर आप गूगल करके देख लीजिए, पीएम मोदी एक ड्रेस को दोबारा पहने नहीं दिखाई देंगे. आपको ऐसी एक भी तस्वीर नहीं मिलेंगी.

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आपको बता दें कि विपक्षी पार्टियां पीएम मोदी पर पोशाकों के लिए काफी खर्च करने का आरोप लगातार लगाती रही हैं. पिछले साल दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने आरोप लगाया था कि पीएम अपनी पोशाकों पर रोज 10 लाख रुपये खर्च करते हैं.

वहीं अमेरिकी के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा के साथ नई दिल्ली में मुलाकात के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जो कढ़ाईदार सूट पहना था, इस सूट को लेकर विवाद खड़ा हो गया था. इसे नीलामी के लिए रखा गया था. सूरत के हीरा व्यापारी लालजी पटेल ने इसे 4.31 करोड़ रुपये में खरीदा था. इस सूट पर 'नरेंद्र दामोदरदास मोदी' नाम की कढ़ाई की हुई थी.

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