सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का मुद्दा अब भी गर्माया हुआ है. बुधवार को ही सबरीमाला मंदिर के कपाट खुल रहे हैं. शाम 5 बजे गेट खुलेंगे, लेकिन अभी से ही वहां पर भीड़ लगनी शुरू हो गई है. महिलाएं बड़ी संख्या में कूच कर रही हैं. अब इस मुद्दे पर राजनीतिक बयानबाजी भी तेज हो गई है.
केरल के कृषि मंत्री सुनील कुमार ने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि भारतीय जनता पार्टी उत्तर भारत में राम का उपयोग करती है और अब वह केरल में अयप्पा के नाम का इस्तेमाल कर रही है. क्योंकि केरल में राम नहीं बिकते हैं, यहां अयप्पा का नाम चलता है. यहां के लोग सब समझ रहे हैं.
उन्होंने कहा कि मैं बीजेपी-कांग्रेस को चैलेंज देता हूं कि वह इस मुद्दे पर अध्यादेश पास करे. सुप्रीम कोर्ट में जो जज इस मामले की सुनवाई कर रहे हैं, वह संघ परिवार से ही हैं. और यहां पर लोगों को मिस गाइड कर रहे हैं.
येचुरी ने BJP-कांग्रेस को घेरा
केरल के मंत्री के अलावा सीताराम येचुरी ने भी बीजेपी-कांग्रेस को इस मुद्दे पर आड़े हाथों लिया. येचुरी ने कहा कि बीजेपी और संघ का सबरीमला में सांप्रदायिक ध्रुवीकरण करने का एजेंडा है, लेकिन वो जीतेंगे नहीं. उन्होंने कहा कि अगर बीजेपी को कोई बदलाव करना है तो वह संसद को बुलाए या फिर अध्यादेश लाए, इस तरह सड़क पर हंगामा करने से कुछ नहीं होगा. उन्होंने कांग्रेस को भी कहा कि उन्हें भी इस मुद्दे पर अपना रुख साफ करना चाहिए, दोनों दल दिल्ली में अलग बात कहते हैं और यहां पर आकर दूसरा चेहरा दिखाते हैं.
जारी है विरोध प्रदर्शन
गौरतलब है कि केरल के प्रसिद्ध सबरीमाला मंदिर के कपाट खुलने का समय जैसे-जैसे करीब आ रहा है तनाव बढ़ता जा रहा है क्योंकि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद यहां महिलाओं को प्रवेश नहीं देने की कोशिश की जा रही है.
वहीं, स्वामी अयप्पा के दर्शन के लिए महिला श्रद्धालु जुटने लगीं हैं. मंदिर परिसर के बाहर विरोध-प्रदर्शन और तनाव के मद्देनजर सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं.
5 बजे खुलेंगे कपाट
सबरीमाला मंदिर में सभी लड़कियों और महिलाओं को प्रवेश की इजाजत देने के सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद से मंदिर के द्वार आज खुलने जा रहे हैं. आज शाम 5 बजे सबरीमाला मंदिर के कपाट खुलने हैं.
इस बीच, भगवान अयप्पा की सैकड़ों महिला भक्तों ने निलक्केल में कई वाहनों को रोककर चेक किया. इस दौरान वे मासिक धर्म की उम्र वाली महिलाओं को आगे जाने से रोक दिया. इसके बाद तनाव और बढ़ गया है. मंदिर परिसर से करीब 20 किलोमीटर दूर निलक्कल बेस कैंप में भगवान अयप्पा के बहुत सारे भक्त ठहरे हुए हैं.