सुप्रीम कोर्ट ने एक अहम फैसले में एसिड अटैक से पीडि़तों के लिए मुआवजा बढ़ाकर 3 लाख रुपये कर दिया है. इनमें से 1 लाख रुपया संबंधित राज्य सरकार को 15 दिनों के भीतर ही दे देना होगा.
देशभर में तेजाब हमले की बढ़ती वारदात के मद्देनजर सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकारों को निर्देश दिया है. सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के मुताबिक, एसिड अटैक से पीडि़तों के इलाज और पुनर्वास की पूरी जिम्मेदारी राज्य सरकार की होगी.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि अब थोक भाव में एसिड की खरीद एसडीएम की मंजूरी मिलने के बाद ही की जा सकेगी. बहरहाल, उम्मीद की जानी चाहिए कि सुप्रीम कोर्ट के ताजा निर्देश के बाद एसिड अटैक के मामलों में कमी आएगी.
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के मुख्य अंशः
- कोर्ट ने पीड़ित को कम से कम 3 लाख रुपये मुआवजा देने का आदेश दिया है.
- मुआवजे के एक लाख की रकम 15 दिनों के अंदर देना होगा.
- बाकी के दो लाख रुपए दो महीने के अंदर ही देना होगा.
- राज्यों के मुख्य सचिवों को सीधे तौर पर इन आदेशों के पालन के लिए जिम्मेदार ठहराया गया है.
- 18 साल से कम उम्र के बच्चों को तेजाब नहीं बेचा जाएगा.
- तेजाब की खरीद-बिक्री के लिए विक्रेताओं को अलग से एक रजिस्टर रखना होगा.
- बिना पहचान पत्र, एड्रेस प्रूफ और वजह के एसिड नहीं दिया जाएगा.
- मेडिकल और शिक्षा के उद्देश्य से थोक में एसिड खरीदने से पहले एसडीएम से आदेश लेना होगा.
- एसडीएम एसिड के इस्तेमाल की निगरानी भी करेंगे.
- तेजाब को लेकर दिए गए निर्देशों का अगर पालन नहीं होगा, तो पचास हजार का जुर्माना ठोंका जाएगा.
- तेजाब को लेकर तमाम निर्देशों पर स्थानीय भाषा में विज्ञापन भी देने का आदेश है.
- सुप्रीम कोर्ट ने चार महीने बाद इस मसले पर फिर सुनवाई की तारीख रखी है.