जम्मू-कश्मीर के दौरे पर गए प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने एक प्रेस कॉफ्रेंस कर अलगावादी नेताओं से शांति की अपील की है. उन्होंने कहा, "मुझे अलगाववादियों से उम्मीद है कि वे शांति की पहल का सही जवाब देंगे". उन्होंने कहा कि अलगाववादियों को हिंसा का रास्ता छोड़कर राज्य के विकास कार्यों में अहम भूमिका निभानी चाहिए. प्रधानमंत्री ने कहा कि वो घाटी में एक नई शुरुआत की उम्मीद रखते हैं. प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने राज्य को हरसंभव मदद देने का वादा भी किया.
पाकिस्तान का आरोप गलत
इसके साथ ही प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने पाकिस्तान को भी आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा कि पाकिस्तान द्वार भारत पर लगाए गए सभी आरोप बेबुनियाद हैं. उन्होंने कहा कि भारत आतंकवाद पीडि़त देश है और इसका पुरजोर विरोध करता है. एक सवाल के जवाब में पीएम ने पाक के उन आरोपों का भी खंडन किया, जिसमें कहा गया था कि भारत बलूचिस्तान में आतंकवाद को पोषित कर रहा है. गौरतलब है कि हाल ही में पाकिस्तान ने भारत पर तालिबान को वित्तीय मदद मुहैया कराने का आरोप लगाया था.
नक्सली समस्या देश के विकास में बाधक
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने नक्सली हिंसा पर भी चिंता जताई. उन्हानें कहा कि देश में हिंसा के लिए कोई जगह नहीं है. इसके साथ ही प्रधानमंत्री ने कहा कि नक्सलियों को हथियार डाल देने चाहिए और बातचीत की मेज पर आकर समस्या का समाधान करना चाहिए. प्रधानमंत्री का जम्मू-कश्मीर दौरे का आज दूसरा दिन है.
अनंतनाग-काजीगुंड रेल मार्ग का उद्धाटन
इससे पहले बुधवार को अनंतनाग-काजीगुंड रेल मार्ग के उद्घाटन पर प्रधानमंत्री ने कहा कि मुझे उम्मीद है कि पाकिस्तान आतंकी गिरोहों के खिलाफ चल रही कार्रवाई को उसके जायज अंजाम तक पहुंचाएगा. उन्हें इन गिरोहों को नष्ट करना होगा, चाहे वह कहीं से भी सक्रिय हों और किसी भी मकसद से काम कर रहे हों. पाकिस्तान की जनता और वहां की सरकार से सद्भावना और संजीदगी दिखाने का आह्वान करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि मैं पहले भी कह चुका हूं कि अगर ऐसा होता है तो जवाब देने में भारत भी पीछे नहीं रहेगा.