केंद्रीय कृषि और खाद्य एवं प्रसंस्करण राज्य मंत्री तथा राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के राष्ट्रीय महासचिव तारिक अनवर ने स्पष्ट कर दिया है कि उनकी पार्टी के मुखिया एवं कृषि मंत्री शरद पवार प्रधानमंत्री पद की दौड़ में शामिल नहीं हैं.
केंद्रीय गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे के बयान के बारे में पूछे जाने पर तारिक ने कहा कि शिंदे ने औपचारिकता के तौर पर ऐसी बात कही होगी. शिंदे ने कहा था कि वह राकांपा प्रमुख शरद पवार को प्रधानमंत्री बनते देख खुश होंगे.
उन्होंने कहा कि शिंदे ने लंबे समय तक शरद पवार के साथ काम किया है. उनके मुख्यमंत्रित्वकाल में वह मंत्री रहे थे, इसलिए यह उनकी व्यक्तिगत राय हो सकती है. तारिक ने राकांपा की ओर से यह स्पष्ट किया कि पवार प्रधानमंत्री पद की दौड़ में नहीं हैं. उन्होंने कहा कि पवार में प्रधानमंत्री बनने की सभी क्षमताएं हैं, क्योंकि राजनीति के क्षेत्र में जितना लंबा अनुभव उन्हें है, उतना देश में कम ही राजनेताओं को है.
तारिक ने कहा कि लोकतंत्र में सही मायनों में खेल आंकड़ों का होता है जो उनके (पवार) पास नहीं है और अगर ऐसा होता तो वह यकीनन प्रधानमंत्री बन सकते थे.
अगले लोकसभा चुनाव में राकांपा की रणनीति के बारे में पूछे जाने पर तारिक ने कहा कि इस ओर हमारा ध्यान है और उम्मीद है कि मार्च महीने के पूर्व यह मूर्त रूप ले लेगी.
राकांपा के राष्ट्रीय महासचिव तारिक अनवर ने अगले लोकसभा चुनाव को लेकर कहा कि हम लोग वर्तमान में कांग्रेस के साथ यूपीए में शामिल हैं और उसी सीपए का विस्तार बिहार में होगा तथा उक्त दल के साथ जो गठबंधन बनेगा, उसी के साथ हम जाएंगे.
नरेंद्र मोदी को रोकने के लिए कुछ भी करेंगे
उन्होंने कहा कि देश के सामने जो चुनौती है, उसे ध्यान में रखकर गठबंधन बनाया जाना चाहिए, क्योंकि बीजेपी नरेंद्र मोदी को आगे कर ध्रुवीकरण करने के प्रयास में लगी है. उसे रोकने के लिए धर्मनिरपेक्ष दलों का आपसी तालमेल के साथ लोकसभा चुनाव लड़ना समय की मांग है.
गुजरात में वर्ष 2002 में हुए दंगों को लेकर वहां की एक अदालत द्वारा नरेंद्र मोदी को क्लीनचिट दिए जाने से संबंधित सवाल पर तारिक ने कहा कि अदालती फैसला सबूत और गवाहों के आधार पर होता है.
उन्होंने कहा कि नरेंद्र मोदी दंगे के समय उस प्रदेश के मुख्यमंत्री थे और वहां उनके खिलाफ कोई प्राथमिकी और पुलिस कार्रवाई होना मुश्किल था. शुरू से ही तमाम सबूतों को मिटाने की कोशिश की गयी. मोदी भले ही आरोपों से मुक्त हो गये हों, पर सच्चाई यही है तथा लोगों का भी यह मानना है कि अगर उन्होंने मुख्यमंत्री की भूमिका सही तरह से निभाई होती एवं दंगे को रोकने की कोशिश की होती तो शायद आज उनके दामन पर जो दाग है, वह नहीं होता.
तारिक ने कहा कि बीजेपी और नरेंद्र मोदी को बार-बार इसको लेकर जो सफाई देनी पड़ रही है, उसकी वजह यह है कि ऐसी घटनाएं हुईं, जिसके कारण आज भी वह संदेह के घेरे में हैं.
आम आदमी पार्टी की सफलता दिल्ली तक
आम आदमी पार्टी से अन्य दलों को खतरे के बारे में पूछे जाने पर तारिक अनवर ने कहा कि दिल्ली में उक्त दल को सफलता मिलने की वजह अन्ना हजारे का आंदोलन था जिसका दिल्ली वासियों पर असर हुआ. आम आदमी पार्टी को इसका लाभ मिला, लेकिन पूरे देश में उसे सफलता मिलेगी, उन्हें ऐसा प्रतीत नहीं होता.
सस्ती लोकप्रियता पाना चाहते हैं कुमार विश्वास
आम आदमी पार्टी के कुमार विश्वास के अमेठी से लोकसभा चुनाव लड़ने की घोषणा से कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के लिए एक बड़ी चुनौती होने के बारे में तारिक ने इसे एक चुनावी स्टंट बताया और कहा कि विश्वास ने सस्ती लोकप्रियता पाने के लिए यह रास्ता अपनाया है.
तारिक ने कहा कि उन्हें ऐसा नहीं लगता, क्योंकि अमेठी संसदीय क्षेत्र गांधी परिवार से परंपरागत रूप से जुड़ा रहा है और उनका उस परिवार से एक भावनात्मक लगाव है.