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केजरीवाल के आरोपों का शीला दीक्षित ने किया खंडन

आम आदमी पार्टी (आप) के नेता अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को राष्ट्रीय राजधानी में बिजली की दर नहीं घटाए जाने की वजह दिल्ली सरकार व बिजली वितरण कंपनियों के बीच सांठगांठ होना बताया, वहीं मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने इस आरोप का खंडन करते हुए इसे सरासर झूठ करार दिया.

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शीला दीक्षित
शीला दीक्षित

आम आदमी पार्टी (आप) के नेता अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को राष्ट्रीय राजधानी में बिजली की दर नहीं घटाए जाने की वजह दिल्ली सरकार व बिजली वितरण कंपनियों के बीच सांठगांठ होना बताया, वहीं मुख्यमंत्री शीला दीक्षित ने इस आरोप का खंडन करते हुए इसे सरासर झूठ करार दिया.

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दीक्षित ने कहा, 'उनका आरोप निराधार और पूरी तरह झूठ है. एनडीपीएल और डीईआरसी ने भी इसका खंडन किया है. यह मामला न्यायालय के विचाराधीन है.' केजरीवाल ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि कहा कि आम आदमी पर बोझ बढ़ाकर बिजली कंपनियों ने 3,577 करोड़ रुपये का मुनाफा कमाया है.

बिजली की जो मौजूदा दर है, उससे 23 फीसदी कम होनी चाहिए. उन्होंने आरोप लगाया कि बिजली विद्युत नियामक आयोग (डीईआरसी) के अध्यक्ष पी.डी. सुधाकर बिजली कंपनियों के एजेंट के रूप में काम कर रहे हैं.

केजरीवाल ने यह भी कहा कि डीईआरसी के पूर्व अध्यक्ष बृजेंद्र सिंह ने 2010 में जब बिजली की दर घटाने का प्रयास किया था, तब बिजली कंपनियां दिल्ली सरकार से गुहार लगाने चली गई थी. उन्होंने दिल्ली की मुख्यमंत्री का नाम लेते हुए कहा, 'शीला दीक्षित ने आदेश दिया था कि बिजली की दर नहीं घटाई जाए.' केजरीवाल ने सरकार के आदेश की प्रतियां भी मीडिया को उपलब्ध कराई.

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