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सुकून की नींद लीजिये, बीमारियां भगाईये

तनाव, थकान, सिरदर्द, उच्च रक्तचाप, गठिया से लेकर हृदयदाह यानी हार्टबर्न जैसी बीमारियों से बचना है तो सुकून की नींद बेहद जरूरी है.

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तनाव, थकान, सिरदर्द, उच्च रक्तचाप, गठिया से लेकर हृदयदाह यानी हार्टबर्न जैसी बीमारियों से बचना है तो सुकून की नींद बेहद जरूरी है. इंडियन स्लीप डिस्ऑर्डर एसोसियेशन के अध्यक्ष जे सी सूरी बताते हैं कि जीवनशैली से जुड़ी कई बीमारियों का मुख्य कारण पर्याप्त नींद न हो पाना है. वह कहते हैं कि छह से आठ घंटे की नींद सेहत के लिए आवश्यक है और इसमें कमी सेहत के लिए नुकसानदायक हो सकती है.

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वह कहते हैं ‘अच्छी नींद न हो पाने की वजह से तनाव, थकान, सिरदर्द, उच्च रक्तचाप, गठिया, हृदयदाह से लेकर मोटापा, मधुमेह जैसी बीमारियां भी हो सकती हैं. बीमारियां लगने पर इलाज कराने से बेहतर है कि थोड़ी सावधानी बरती जाए और नींद पूरी की जाए.’

स्लीपिंग डिस्ऑर्डर के विशेषज्ञ रामनाथन अय्यर कहते हैं ‘स्वास्थ्य के लिये नींद अत्यंत महत्वपूर्ण है इसलिए इसकी अनदेखी नहीं करनी चाहिये. इससे पहले कि नींद की समस्या नियंत्रण से बाहर चली जाये, लोगों को इस पर काबू पा लेना चाहिये.’ नींद में गतिरोध की ही एक स्थिति इन्सोम्निया है। इन्सोम्निया वास्तव में नींद को प्रभावित करता है जिसकी वजह से दिन भर थकान बनी रहती है.

{mospagebreak}विशेषज्ञों के अनुसार, इनसोम्निया के कारण व्यक्ति एकाग्र नहीं हो पाता, उसका कामकाज प्रभावित होता है, उसे थकान महसूस होती है, वह छोटी छोटी बातों को भूलने लगता है और तनाव का शिकार भी हो जाता है. यह समस्या अक्सर उन लोगों को होती है जो छह घंटे से कम नींद लेते हैं. इन्सोम्निया की वजह से कई मानसिक विकार भी हो सकते हैं.

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अय्यर कहते हैं ‘नींद में शरीर के कुछ एंजाइम सक्रिय होते हैं जिनकी भूमिका महत्वपूर्ण होती है. चयापचय की क्रिया के लिए भी नींद महत्वपूर्ण है.’ अय्यर के अनुसार, कोशिश की जानी चाहिए कि नींद के लिए दवाओं का सेवन न करना पड़े और नींद स्वाभाविक तरीके से आ जाए. इसके लिए एकाग्रता जरूरी है. एकाग्रता के लिए ध्यान, चिंतन, योग आदि का सहारा लिया जा सकता है. सोने से पहले पढ़ने या संगीत सुनने की आदत भी नींद में सहायक होती है. इससे कोई नुकसान नहीं होता लेकिन दवाओं से नुकसान हो सकता है.

बहरहाल, वह यह भी कहते हैं कि यदि विभिन्न उपायों से भी नींद न आने की समस्या हल न हो तो डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए. समय रहते उपाय छोटी समस्या को असाध्यन नहीं बनने देते.

सूरी के अनुसार, नींद से मोटापे तथा मधुमेह की समस्या भी जुड़ी है. उन्होंने कहा ‘मानसिक, शारीरिक और भावनात्मक सेहत के लिए भी नींद महत्वपूर्ण है.’

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