दिल्ली में चलती बस में पैरामेडिकल की एक छात्रा के साथ गैंगरेप के मामले को लेकर हो रही व्यापक आलोचना के बीच गृह मंत्री सुशील कुमार शिंदे ने संसद में कहा कि लोगों में विश्वास बहाली के लिए तमाम उपाय किए गए हैं.
इनमें रंगीन शीशे और खिडकियों पर पर्दे वाली बसों के खिलाफ कार्रवाई करने और रात में चलती बसों के भीतर लाइट जलाकर रखने जैसे हिदायत शामिल हैं. शिंदे ने राज्यसभा और लोकसभा में इस मुद्दे पर सरकार द्वारा उठाए गए कदमों से सदन को अवगत कराने का मंगलवार को दिए गए आश्वासन को पूरा करते हुए बुधवार को इस संदर्भ में किए गए नए निर्णयों की जानकारी दी.
उन्होंने कहा, ‘निर्णय किया गया है कि उन बसों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी जिनके शीशे रंगीन होंगे या जिनकी खिड़कियों पर पर्दे लगे हों. ऐसी बसों को जब्त कर लिया जाएगा.’ उन्होंने कहा कि सभी बसों को उनके मालिकों के पास पार्क किया जाएगा ना कि उनके चालकों के पास. ऐसा नहीं होने पर बसों को तुरंत जब्त कर लिया जाएगा. बसों पर चालकों का फोटो पहचान पत्र और हेल्पलाइन नंबर प्रदर्शित करना अनिवार्य होगा.’
शिंदे ने कहा कि दिल्ली पुलिस से कहा गया है कि गश्त के लिए वाहनों की संख्या बढ़ायी जाए. इस घटना में अब तक की गयी कार्रवाई का ब्यौरा देते हुए गृह मंत्री ने कहा कि छह आरोपियों में से चार को गिरफ्तार कर लिया गया है और बाकी दो आरोपियों को पकड़ने के लिए पुलिस की टीमें छापा मार रही हैं. इस काम की निगरानी के लिए एक विशेष जांच दल बनाया गया है.
शिंदे ने सदन में जो कहा उसके मुख्य अंश इस प्रकार हैं:
1- महिला आईपीएस अधिकारी के साथ पुलिस टीम को निर्देश दिया गया है कि पीड़ित छात्रा की हालत का जायजा लेने वह रोज अस्पताल जाएगी.
2- बसों के रंगीन शीशे तोड़ दिए जाएंगे साथ ही पर्दे हटा दिए जाएंगे. पर्दे और रंगीन शीशे वाली बसों को जब्त किया जाएगा.
3- सभी व्यवसायिक बसों को निर्देश दिया जाएगा कि रात में बसों के अंदर की लाइट जली रहे. बसें अपने मालिक के घर ही पार्क की जाएंगी.
4- बसों पर चालकों का फोटो पहचान पत्र और हेल्पलाइन नंबर प्रदर्शित करना अनिवार्य होगा.
5- दिल्ली पुलिस की गाड़ियां जीपीएस यूनिट से सेट होंगी जिससे कि पुलिस कंट्रोल रूम से उन्हें ट्रैक किया जा सके.
6- दिल्ली पुलिस बस चालकों और बस के स्टाफ का वैरीफिकेशन करेगी.