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तमिलनाडु: सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान गई एक और जान, 3 दिन में 2 मौतें

तमिलनाडु में सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान पिछले 3 दिनों में 2 मौतें हो चुकी हैं. राजधानी चेन्नई में युवक की मौत के बाद कुंबाकोणम में भी एक शख्स की मौत हो गई.

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तमिलनाडु में सफाई के दौरान एक और मजदूर की गई जान (फोटो-लोकप्रिया)
तमिलनाडु में सफाई के दौरान एक और मजदूर की गई जान (फोटो-लोकप्रिया)

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  • कुंबाकोणम में सीवर की सफाई के दौरान हुई मौत
  • मंगलवार को चेन्नई के मॉल में अरुण की गई थी जान
  • भाई को बचाने के चक्कर में अरुण का दम घुट गया

तमिलनाडु में सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान पिछले 3 दिनों में 2 मौतें हो चुकी हैं. राजधानी चेन्नई में युवक की मौत के बाद अब कुंबाकोणम में भी एक शख्स की मौत हो गई.

चेन्नई के एक मॉल में मंगलवार को सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान हादसा हो गया था. अपने भाई को बचाने के दौरान एक युवक की मौत हो गई. मृतक युवक की पहचान 25 साल के अरुण कुमार के रूप में हुई. इस घटना के बाद अब गुरुवार रात कुंबाकोणम में खुद ही सीवर में सफाई करने उतरे शख्स की दम घुटने से मौत हो गई.

अंदर उतरते ही दम घुंट गया

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कुंबाकोणम के एक सीवर में सफाई के दौरान मरने वाले शख्स का नाम सादिक बाशा है जो अनुबंधित मजदूर के रूप में काम करते थे. कुंबाकोणम रेलवे स्टेशन के पास अंडरग्राउंड सीवेज सिस्टम को साफ करने के लिए सादिक बाशा को बुलाया गया.

सादिक बाशा सफाई के लिए जब अंदर उतरे तो कुछ ही देर में वह खतरनाक गैस के कारण वह बेहोश हो गए. स्थानीय लोगों ने उन्हें अचेत होता देख फायर सर्विस को बुलाया. सादिक के साथ गया उसका साथी खतरनाक गैस की चपेट में आने के डर से वहां से भाग गया.

लोगों की शिकायत थी कि फायर सर्विस को घटनास्थल पर पहुंचने में करीब 2 घंटे लग गए. पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है. यह घटना गुरुवार रात हुई थी.

भाई को बचाने के चक्कर में गई जान

3 दिन पहले मंगलवार को राजधानी चेन्नई के एक मॉल में सेप्टिक टैंक की सफाई के दौरान गैस की चपेट में आने के कारण युवक अरुण की मौत हो गई थी. 

सफाई के दौरान अरुण की मौत से मॉल में हड़कंप मच गया और सभी लोग हादसे की जगह से भाग गए. पुलिस के मुताबिक, मंगलवार सुबह करीब 4 बजे जब रंजीत सेप्टिक टैंक की सफाई के लिए एक्सप्रेस एवेन्यू मॉल के सेप्टिक टैंक में घुसा था. टैंक में घुसते ही उसका दम घुटने लगा और वह नीचे गिर गया. यह देखकर उसका भाई अरुण उसे बचाने के लिए टैंक में घुसा. लेकिन उसकी दम घुटने के कारण मौत हो गई जबकि रंजीत बच गया.

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मैनुअल स्कैवेंजिंग पर प्रतिबंध

सोशल जस्टिस एंड एम्पावरमेंट मिनिस्ट्री के आंकड़ों के अनुसार, तमिलनाडु में सीवर टैंक की सफाई के दौरान सबसे ज्यादा लोगों की मौत हुई हैं. मौत का आंकड़ा 144 का है.

1993 में एम्प्लॉयमेंट ऑफ मैनुअल स्कैवेंजर्स एंड कंस्ट्रक्शन ऑफ ड्राई लैट्रिन (निषेध) अधिनियम के तहत मैनुअल स्कैवेंजिंग पर प्रतिबंध भी लगा दिया गया था. हालांकि, मैनुअल मैला ढोने वालों के रोजगार को प्रतिबंधित करने वाले एक कानून के बावजूद, एक सरकारी सर्वेक्षण ने जुलाई 2019 तक इस रोजगार में लगे 54 हजार 130 लोगों की पहचान की.

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