तूतीकोरिन में स्टरलाइट प्लांट के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान पुलिस फायरिंग की जांच 4 जून से शुरू होगी. इसकी जांच के लिए एक सदस्यीय कमेटी बनाई गई है. मद्रास हाईकोर्ट की रिटायर्ड जज अरुणा जगदीशन इस मामले की जांच करेंगी.
जानकारी के मुताबिक, रिटायर्ड जज अरुणा जगदीशन अपनी जांच की शुरुआत तूतीकोरिन के सरकारी अस्पताल से करेंगी. यहां वो पीड़ितों से बात करेंगी. इसके बाद अरुणा जगदीशन स्टरलाइट प्लांट भी जाएंगी. अरुणा इस मामले की जांच रिपोर्ट राज्य सरकार को सौंपेंगी.
बता दें, तमिलनाडु के तूतीकोरिन में पिछले तीन महीनों से जारी विरोध प्रदर्शन 22 मई को अचानक उग्र हो गया. इस दौरान कुछ प्रदर्शनकारियों ने पुलिसकर्मियों पर पथराव शुरू कर दिया, जिसके बाद पुलिस ने उन पर फायरिंग की थी. इस पुलिस फायरिंग में 13 लोगों की मौत हो गई थी, जबकि दर्जनों लोग घायल हुए थे. इस मामले में हंगामा बढ़ने के बाद राज्य सरकार ने स्टरलाइट प्लांट का लाइसेंस रद्द कर दिया.
वहीं, मद्रास हाईकोर्ट ने तमिलनाडु के तूतीकोरिन में स्टरलाइट फैक्ट्री के खिलाफ प्रदर्शन के दौरान हुई पुलिस फायरिंग में मारे गए लोगों का दोबारा पोस्टमार्टम करने का आदेश दिया है. हाईकोर्ट ने बुधवार (30 मई) को कहा कि तूतीकोरिन में गोलीबारी के शिकार मृतकों का दोबारा पोस्टमार्टम किया जाए और शव उनके परिजनों को सौंपे जाएं. इससे पहले कोर्ट ने गोलीबारी में मारे गए 13 लोगों के शवों को सुरक्षित रखने के अपने फैसले पर पुनर्विचार करने से इंकार कर दिया था.
दरअसल, पिछले गुरुवार को राज्य सरकार ने कोर्ट से मांग की थी कि उच्च न्यायालय शवों को सुरक्षित रखने के अपने फैसले को संशोधित करे जिसे कोर्ट ने खारिज कर दिया था. तमिलनाडु सरकार की दलील थी कि मृतकों के परिजन शव मांग रहे हैं, लेकिन कोर्ट ने कहा कि यदि ऐसा है तो परिजन उसके पास आते.