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टेलीविजन नहीं देता है संस्‍कार: स्‍मृति ईरानी

भाजपा नेता और नामचीन टीवी कलाकार स्‍मृति ईरानी ने कहा है कि टेलीविजन बच्‍चों को संस्‍कार नहीं देता है. आज तक के कार्यक्रम सीधी बात में उन्‍होंने कहा कि नई पीढ़ी को रामायण व महाभारत आदि पढ़ाए जाने की जरूरत है.

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स्‍मृति ईरानी
स्‍मृति ईरानी

आज के दौर की नामचीन टीवी कलाकार स्‍मृति ईरानी ने कहा है कि टेलीविजन बच्‍चों को संस्‍कार नहीं देता है. संस्‍कार के लिए नई पीढ़ी को रामायण व महाभारत आदि पढ़ाए जाने की जरूरत है. आज तक के कार्यक्रम सीधी बात में उन्‍होंने ये बातें कहीं.

हास्‍य भूमिकाओं को लेकर शुरू में शंकाएं
अपने नए सीरियल 'मनीबेन डॉट कॉम' के बारे में उन्‍होंने कहा कि पहले तो उनके मन में भी इसकी भूमिका को स्‍वीकार करने को लेकर कुछ शंकाएं थीं, पर बाद में उन्‍होंने इसे स्‍वीकार कर लिया. उन्‍होंने मजाकिया लहजे में कहा, 'कुछ लोग मेरे साथ हंसने से भी डरते थे.' उन्‍होंने कहा कि हमारी सभ्‍यता में बिटिया ससुराल जाकर वहां के तौर-तरीकों को आत्‍मसात कर लेती है. दिल्‍ली उनका मायका है और गुजरात ससुराल. इसीलिए उन्‍होंने गुजराती पृष्‍ठभूमि वाले सीरियल को स्‍वीकार करने से गुरेज नहीं किया. उन्‍होंने कहा कि 'मणिबेन' में संस्‍कार हैं.

टेलीविजन में नहीं मिले थे मौके
यह टिप्‍पणी किए जाने पर कि पहले-पहल तो वे नाटक में काम करती थीं, पर अब मनी बैंक बन गई हैं, उन्‍होंने कहा कि टेलीविजन पर सहारा न मिलने के कारण ही उन्‍हें नाटक की ओर रुख करना पड़ा. स्‍मृति ईरानी ने सीधी बात कार्यक्रम पर भी चुटीली टिप्‍पणी की. उन्‍होंने कहा कि कौन-सा सिक्‍का खोटा और कौन नहीं, यदि यह जानना हो, तो यह देखें कि सीधी बात में कौन आ रहा है.

होनी चाहिए संघर्ष करने की ताकत
यह याद दिलाने पर कि एकता कपूर ने आपको आगे बढ़ने से रोकने की भरपूर कोशिश की, उन्‍होंने कहा कि एकता ने उन्‍हें मौके दिए है. उन्‍होंने कहा, जब आपके सामने संघर्ष करने जैसी स्थिति होती है, तब आपमें उसका सामना करने की ताकत भी होनी चाहिए.

राजनीति में रमती जा रही स्‍मृति
स्‍मृति ईरानी ने कहा कि पहले तो उन्‍हें राजनीति में ज्‍यादा गंभीरता से नहीं लिया गया, पर जल्‍द ही उन्‍हें पार्टी में अहम पद दिए जाने लगे. फिलहाल उन्‍हें बीजेपी संगठन में राज्‍यस्‍तरीय पद हासिल है. उन्‍होंने कहा कि अटल जी की बात उन्‍हें याद है, वे हार नहीं मानेंगी.

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