केंद्रीय जल संसाधन, नदी विकास और गंगा पुनरूद्धार मंत्री उमा भारती ने सोमवार को कहा कि सरकार गंगोत्री से गंगा सागर तक गंगा के लगातार और अविरल प्रवाह के लिए वचनबद्ध है. उमा भारती ने गंगा पर राष्ट्रीय संवाद 'गंगा मंथन' में कहा, "हम इस संवाद के निष्कर्ष पर पूरी ईमानदारी से कार्य करेंगे. हमारा विभिन्न भागीदारों से इस मुद्दे पर विचार-विमर्श हुआ है और हम शीध्र ही किसी सही निष्कर्ष पर पहुंच जाएंगे.' उन्होंने कहा कि हर वर्ग के लोग बिना किसी धार्मिक भेदभाव इस अभियान के प्रति समर्पित हैं. गंगा पुनरुद्धार कार्यक्रम के लिए पैसे की कोई कमी नहीं रहेगी.
केंद्रीय पर्यटन और संस्कृति मंत्री श्रीपद यसो नाइक ने गंगा नदी पर प्रमुख पर्यटन स्थलों के विकास की योजना की जानकारी देते हुए कहा कि गंगोत्री से गंगा सागर तक गंगा नदी के किनारे पर्यटक स्थल विकसित किए जाएंगे. उनका मंत्रालय कश्मीर की तरह गंगा नदी में शिकारे शुरू करने की संभावनाओं का पता लगा रहा है.
केंद्रीय सड़क परिवहन, राजमार्ग और शिपिंग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि गंगा नदी के विकास के पहले चरण में गंगा को वाराणसी से हुगली के बीच छोटे जहाजों को चलाने योग्य बनाने के लिए इसकी चौड़ाई 45 मीटर और गहराई पांच मीटर करने के लिए खुदाई करने का प्रस्ताव किया गया है. गंगा पर हर सौ किलोमीटर के बाद बांध बनाए जाएंगे.
उन्होंने बताया कि उनके मंत्रालय ने इलाहाबाद-हल्दिया कॉरीडोर के विकास के लिए विश्व बैंक को प्रस्ताव भेजा है. एक दिन के इस संवाद का आयोजन स्वच्छ गंगा के लिए राष्ट्रीय मिशन द्वारा आयोजित किया गया है, जिसमें देश के विभिन्न भागों और विदेश के अनेक शिष्टमंडलों ने भाग लिया.