वीवीआईपी हेलीकॉप्टर घोटाले में इंडियन एयरफोर्स के पूर्व चीफ एसपी त्यागी के साथ 12 अन्य लोगों के खिलाफ सीबीआई ने मामला दर्ज किया है. 3,600 करोड़ रुपये के इस करार के सिलसिले में त्यागी एवं अन्य के खिलाफ एफआईआर में कथित धोखाधड़ी, भ्रष्टाचार और आपराधिक साजिश के आरोप लगाए गए हैं. इस मामले में त्यागी के आवास सहित 14 जगहों पर सीबीआई ने बुधवार को छापेमारी की.
एस पी त्यागी ऐसे पहले वायुसेना अध्यक्ष हैं जिनके खिलाफ भ्रष्टाचार या किसी आपराधिक मामले में सीबीआई ने प्राथमिकी दर्ज की है.
सीबीआई सूत्रों ने बताया कि पूर्व वायुसेना प्रमुख, उनके चचेरे भाइयों - संजीव उर्फ जूली, राजीव उर्फ डॉक्सा और संदीप, यूरोपीय बिचौलिए कालरे गेरोसा, क्रिश्चियन मिचेल और गुइडो हेश्के उन 13 लोगों में शामिल है जिन्हें प्राथमिकी में नामजद आरोपी बनाया गया है.
प्राथमिकी दर्ज किए जाने के बाद पूर्व वायुसेना प्रमुख का पक्ष जानने की कोशिश की गयी लेकिन कोई जवाब नहीं मिला. त्यागी ने अपने उपर लगाए गए आरोपों को सिरे से खारिज किया था
सीबीआई का आरोप है कि वायुसेना प्रमुख के तौर पर अपने कार्यकाल में त्यागी और ‘उनकी मंजूरी से’ वायुसेना ने ‘वीवीआईपी हेलीकॉप्टरों की उड़ान की अधिकतम उंचाई 6,000 मीटर से घटाकर 4,500 मीटर करने की अनिवार्यता पर सहमति दी जिसका सुरक्षा आधार एवं अन्य संबद्ध कारणों से जोरदार विरोध किया गया था.’ जांच एजेंसी ने आरोप लगाया कि हेलीकॉप्टरों की उड़ान की अधिकतम उंचाई में कमी किए जाने से ब्रिटेन की अगस्तावेस्टलैंड को करार की दौड़ में बने रहने का मौका मिला . यदि हेलीकॉप्टरों की उड़ान की अधिकतम उंचाई कम नहीं की गयी होती तो यह कंपनी बोली में हिस्सा भी नहीं ले पाती .
सूत्रों ने बताया कि सीबीआई का आरोप है कि बिचौलिया हेश्के ट्यूनीशिया स्थित अपनी कंपनी गोर्डियन सर्विसेज सर्ल के जरिए 2004-2005 के बाद से अगस्तावेस्टलैंड के साथ कई कंसल्टेंसी अनुबंधों में दाखिल हुआ था और कमोबेश एक के बाद एक के आधार पर उसने त्यागी बंधुओं :त्यागी के चचेरे भाइयों: के साथ कंसल्टेंसी अनुबंध किए थे.
इन अनुबंधों की आड़ में हेश्के ने त्यागी बंधुओं को कथित तौर पर 1.26 लाख यूरो और दो लाख यूरो भेजे.
प्राथमिकी में कहा गया, ‘भेजी हुई इन रकमों के अलावा, त्यागी बंधुओं को बिचौलियों (हेश्के और गेरोसा) से कुछ अपरिमाणित धन भी प्राप्त हुआ. त्यागी बंधुओं को भेजी गयी रकम और हेलीकॉप्टरों की उड़ान की अधिकतम उंचाई में कमी किए जाने पर भारतीय वायुसेना के रुख में नरमी आने का समय बहुत मेल खाता है.’
सीबीआई की प्रारंभिक जांच में जो दो नाम शामिल नहीं थे उन्हें भी प्राथमिकी में नामजद आरोपी बनाया गया है. इसमें पूर्व केंद्रीय मंत्री संतोष बागरोडिया के भाई सतीश बागरोडिया और आईडीएस इंफोटेक के अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक प्रताप अग्रवाल के नाम शामिल हैं. सीबीआई सूत्रों ने बताया कि इतालवी कंपनी फिनमेकेनिका, अगस्तावेस्टलैंड, मोहाली की आईडीएस इंफोटेक, चंडीगढ़ की एयरोमैट्रिक्स, आईडीएस ट्यूनीशिया और आईडीएस मॉरीशस को भी प्राथमिकी में नामजद किया गया है.
एयरोमैट्रिक्स के सीईओ प्रवीण बख्शी, फिनमेकेनिका के पूर्व अध्यक्ष ग्यूसेप्पे ओरसी, अगस्तावेस्टलैंड के पूर्व सीईओ ब्रूनो स्पैगनॉलिनी और आईडीएस इंफोटेक के कानूनी सलाहकार और पूर्व बोर्ड सदस्य गौतम खेतान भी आरोपी बनाए गए हैं.
सभी आरोपियों ने अपने खिलाफ लगाए गए आरोपों को खारिज किया है. सीबीआई का आरोप है कि खेतान, बागरोडिया, अग्रवाल और बख्शी ने बिचौलियों को भारत में धन लाने में मदद की.