राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर (एनआरसी), राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर (एनपीआर) और नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) को लेकर पश्चिम बंगाल में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का प्रदर्शन जारी है. ममता बनर्जी ने नदिया में केंद्र सरकार को एनआरसी और एनपीआर के मुद्दे पर घेरा.
मंगलवार को भी सीएम ममता ने मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि एनपीआर ही एनआरसी का पहला कदम है, इसलिए हम एनपीआर को प्रदेश में लागू नहीं होने देंगे. ममता बनर्जी ने निशाना साधते हुए बीजेपी को "दुशासन" की पार्टी कहा जो लोगों के घर में आग लगाती है. ममता ने कहा कि हम लोग बीजेपी की तरह नहीं हैं जो गोली मारने की बात करते हैं. हम बीजेपी जैसे दुशासन की पार्टी भी नहीं हैं जो लोगों के घर में आग लगाती है. हम लोग बीजेपी का समर्थन नहीं करते, न ही कांग्रेस या सीपीएम का करते हैं. हमने सीपीएम के आतंक के खिलाफ 34 साल लड़ाई लड़ी है और कांग्रेस सीपीएम की सबसे अच्छी दोस्त है. हमने कांग्रेस को लेफ्ट के हाथों में छोड़ दिया.
ममता बनर्जी ने कहा कि हमने शरणार्थियों को जमीन का अधिकार दिया है. बीजेपी राज में बैंकों में पैसा रखना सुरक्षित नहीं है. वह एलआईसी बेच रहे हैं. एअर इंडिया, रेलवे, बीएसएनएल भी बेच रहे हैं.
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ममता बनर्जी ने कहा कि सरकार जब दस्तावेज मांगे तो एक भी दस्तावेज न दिखाएं. अगर वे आपसे के आधार कार्ड का नंबर सबमिट करने के लिए कहें, या आपके परिवार के आधार कार्ड का विवरण मांगे तो उन्हें न दें . जब तक मैं सीधे तौर पर आपसे यह न करूं.
West Bengal Chief Minister Mamata Banerjee in Nadia: In Assam, more than 100 people died because of the National Register of Citizens (NRC). In West Bengal, 31 or 32 died out of fear of NRC. pic.twitter.com/1erab1dSUV
— ANI (@ANI) February 4, 2020
ममता बनर्जी ने कहा कि असम में 100 लोग एनआरसी की वजह से मर गए. पश्चिम बंगाल में 31 या 32 लोग एनआरसी के डर से मर गए.
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इससे पहले मध्य ग्राम की एक रैली में ममता बनर्जी ने कहा था कि गरीबों को एक बार फिर क्यों सड़कों पर क्यों खड़ा किया जा रहा है. हम सभी पंचायत से लेकर लोकसभा चुनाव तक मतदान करते हैं और इसी देश के नागरिक हैं.
एनपीआर पर भी हमलावर रही हैं ममता बनर्जी
एनपीआर के मसले पर ममता बनर्जी पहले भी केंद्र को घेर चुकी हैं. ममता बनर्जी ने कहा था कि जनगणना के नाम पर मोदी सरकार लोगों की मां का बर्थ सर्टिफिकेट मांग रही है और एनपीआर में इस्तेमाल करना चाह रही है. जबतक हम हैं तबतक लोकतांत्रिक अधिकारों को छीनने नहीं देंगे. प्रदर्शन में हिंसा का इस्तेमाल नहीं होना चाहिए. ममता बोलीं कि अगर आपको एनआरसी करना है तो राज्य सरकार का साथ चाहिए, हमारे बिना ये लागू नहीं हो पाएगा फिर चाहे ऑनलाइन ही हो जाए.