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सपा के मिशन 2019 का आगाज, गाजीपुर से आज शुरू होगी साइकिल यात्रा

2019 के लोकसभा चुनाव फतह करने के लिए सपा साइकिल यात्रा शुरू कर रही है. सपा कार्यकर्ता गाजीपुर से दिल्ली तक साइकिल चलाकर सपा नीतियों से लोगों को रुबरु कराएंगे.

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अखिलेश यादव की साइकिल यात्रा (फाइल फोटो)
अखिलेश यादव की साइकिल यात्रा (फाइल फोटो)

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समाजवादी पार्टी 2017 के विधानसभा चुनाव में अपने खिसके जनाधार को वापस लाने की कोशिशों में जुट गई है. 2019 के लोकसभा चुनाव को फतह करने के लिए सपा कार्यकर्ताओं की 'सामाजिक न्याय एवं प्रजातंत्र बचाओ-देश बचाओ' साइकिल यात्रा आज गाजीपुर से शुरू होगी और 23 सितम्बर को दिल्ली के जंतर-मंतर पर समाप्त होगी.

सपा की साइकिल यात्रा का नेतृत्व एमएलसी रामवृक्ष सिंह यादव करेंगे. इस अभियान में छात्र नेता अभिषेक यादव, इलाहाबाद विश्वविद्यालय के पूर्व उपाध्यक्ष आदिल हमजा और मौजूदा उपाध्यक्ष चन्द्रशेखर चौधरी शामिल होंगे.

गाजीपुर में समारोह स्थल से साइकिल यात्रा को हरी झंडी सांसद धर्मेंद्र यादव और राज्यसभा सदस्य नीरज शेखर के साथ पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव इन्द्रजीत सरोज, पूर्व सांसद रमाशंकर विद्यार्थी राजभर, पूर्व विधायक अविनाश कुशवाहा, एमएलसी राजपाल कश्यप व विधायक संग्राम सिंह यादव दिखाएंगे.

सपा कार्यकर्ता इस साइकिल यात्रा के जरिए कस्बों व गांव में स्थान-स्थान पर ठहरकर वहां के निवासियों से भेंटकर सपा की नीतियों, कार्यक्रमों और अखिलेश सरकार के समय अमल में लाई गईं बड़ी-बड़ी योजनाओं और कार्यों की जानकारी बताएंगे.

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बता दें कि 2012 में यूपी में मायावती सरकार के खिलाफ अखिलेश यादव ने जमकर साइकिल चलाई थी. इसका नतीजा था कि 2012 के विधानसभा चुनाव में सपा ने ऐतिहासिक जीत के साथ सत्ता में वापसी की थी. इसके चलते मुलायम सिंह यादव ने सत्ता का सिंहासन अखिलेश को सौंपा, लेकिन पांच साल के बाद बीजेपी के हाथ उन्हें अपनी कुर्सी गंवानी पड़ी.

2017 के विधानसभा चुनाव में सपा की हार के बाद से अखिलेश यादव अपने जनाधार को वापस लाने की कोशिशों में जुटे हैं. फूलपुर, गोरखुपर और कैराना लोकसभा उपचुनाव में 23 साल की दुश्मनी को भुलाकर बसपा के साथ दोस्ती का हाथ बढ़ाया. इससे सपा को जीत का फॉर्मूला मिला.

उपचुनाव में मिली जीत से अखिलेश के हौसले बुलंद हैं. इसी के चलते 2019 के लोकसभा चुनाव में बसपा के साथ गठबंधन करके बीजेपी को मात देने का प्लान है.

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