बुलंदशहर हिंसा के आरोपियों के स्वागत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. विपक्ष ने योगी सरकार को घेरने की कोशिश की है. विपक्ष के सवालों पर उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने पलटवार किया है.
केशव प्रसाद मौर्य ने कहा कि यदि जेल से रिहा किए गए किसी का भी उनके समर्थक स्वागत करते हैं तो इससे सरकार और भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) को कोई लेना-देना नहीं है. विपक्ष बेवजह की बात को तूल दे रहा है.
Deputy CM of Uttar Pradesh, KP Maurya on 6 accused persons in #BulandshahrViolence case garlanded: If supporters of someone who have been released from jail welcome them, the government and BJP has nothing to do with it. Opposition must not make a mountain out of a molehill. pic.twitter.com/YyHSrwCNfD
— ANI UP (@ANINewsUP) August 26, 2019
बता दें, बुलंदशहर हिंसा के 38 में से 6 आरोपी जमानत पर रिहा होकर शनिवार को बाहर निकले. रिपोर्ट के मुताबिक, बुलंदशहर हिंसा के आरोपी जीतू फौजी, शिखर अग्रवाल, हेमू, उपेंद्र सिंह राघव, सौरव और रोहित राघव जैसे ही जेल से बाहर आए, हिन्दूवादी संगठन से जुड़े लोगों ने फूल माला पहनाकर उनका स्वागत किया था. इस दौरान भारत माता की जय, वन्दे मातरम और जय श्री राम के नारे लगाए गए. शिखर अग्रवाल भाजपा युवा मोर्चा के स्याना के पूर्व नगर अध्यक्ष है, जबकि उपेंद्र सिंह राघव अंतरराष्ट्रीय हिन्दू परिषद के विभाग अध्यक्ष है.
गौरतलब है कि पिछले साल 3 दिसंबर को स्याना के चिंगरावटी गांव में गौकशी की अफवाह के बाद हिंसा भड़क गई थी. इस हिंसा में इंस्पेक्टर सुबोध कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस दौरान पूरे गांव में जमकर आगजनी और बलवा हुआ था. बदमाशों ने सरकारी वाहन और पुलिस चौकी को आग के हवाले कर दिया था. इस मामले में यूपी पुलिस ने मामला दर्ज कर 38 लोगों को जेल भेजा था.