यूपी की जनता को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने 3500 करोड़ की योजनाओं की सौगात दी. इन परियोजनाओं में सड़कें, पुल, रेलवे ओवर ब्रिज और पॉवर सब स्टेशन शामिल हैं. मुख्यमंत्री ने लगभग 350 परियोजनाओं की शुरूआत की.
मुख्यमंत्री आवास पर हुए इस कार्यक्रम में 84 पुलों की सौगात जनता को दी गई. इन पुलों की कुल लागत 391 करोड़ आई. इनमें तीन रेल ओवर ब्रिज भी शामिल हैं.
मुख्यमंत्री आवास पर आयोजित शिलान्यास और लोकार्पण समारोह को संबोधित करते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि प्रदेश सरकार स्वास्थ्य, शिक्षा और सड़क के क्षेत्र में तेजी से काम करेगी और आने वाले समय में प्रदेश का न केवल तेजी से विकास होगा, बल्कि पिछड़ते जा रहा प्रदेश विकास के पायदान पर खडा हो जाएगा.
अखिलेश ने कहा कि पिछले डेढ़ वर्ष के कार्यकाल में स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में काफी कुछ काम हुए जिससे प्रदेश की जनता को काफी राहत मिली है. उन्होंने कहा कि अब उनका लक्ष्य सड़कों और पुलों के निर्माण पर जोर देने का होगा ताकि प्रदेश को विकास के पथ पर आगे बढाया जा सके.
प्रदेश में बीस नये पुलों की नींव भी पड़ी. साथ ही 27 नई सड़कों का भी शिलान्यास किया गया. इन सड़कों के निर्माण पर कुल खर्च 1593 करोड़ के आसपास आने का अनुमान है. साथ ही 162 करोड़ की लागत से नौ विद्युत उपकेंद्रों की भी शुरूआत की गई.
यूपी में बिजली की खस्ता हालत किसी से भी छिपी नहीं है, डिमांड और सप्लाई में बीस प्रतिशत का अंतर है, ऐसे में सरकार का दावा है कि इन परियोजनाओं के शुरू होने से बिजली की उपलब्धता भी बढ़ेगी. इस मौके पर मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने कहा कि पिछली सरकार ने इन विकास योजनाओं पर कुछ भी ध्यान नहीं दिया, जिससे इन योजनाओं की लागत भी बढ़ गई.
वहीं विभाग के मंत्री शिवपाल य़ादव नें एक बार फिर अफसरों को हिदायत देते हुये कहा कि पिछली सरकार में इनको जो गलत आदतें लग गई थीं, उन्हें दूर करते-करते 15 महीने बीत गये लेकिन फिलहाल अब प्रदेश में काम होगा और सभी जिला मुख्यालयों को डबल लेन सड़क से और बड़े शहरों को फोर लेन से जोड़ने की तैयारी चल रही है.
आज एक प्राइवेट कंपनी के साथ सरकार ने 25 वर्षों का एक एग्रीमेंट भी साइन किया. सरकार इस कंपनी से 390 मेगावॉट बिजली खरीदेगी. इसके लिए बिजली की दर चार रुपये प्रति यूनिट तय की गई है. इसके अलावा यूपी के 201 तहसीलों में लगभग 790 करोड़ की लागत से पावर सब स्टेशन बनाने की भी बात भी कही गई.
इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने कहा कि अब आने वाले चार सालों में इसी तरह शिलान्यास और लोकार्पण होते रहेंगे. यानी संकेत साफ दे दिया है कि 2014 के चुनावों की तैयारी में पार्टी विकास के मुद्दे को लेकर जनता के सामने जाना चाहती है.