उत्तर प्रदेश के महाराजगंज जिले के स्वास्थ्य विभाग की एक बड़ी लापरवाही सामने आई थी. जहां पर एक बुजुर्ग को कोरोना वैक्सीन की पहली डोज कोवैक्सीन की लगी, वहीं दूसरी कोविशील्ड की लगा दी गई. आजतक की तरफ से इस खबर को गुरुवार को प्रकाशित किया गया था. अब उस खबर का असर ये हुआ है कि पांच स्वास्थ्यकर्मियों को कोविड ड्यूटी से हटा दिया गया है और उन्हें रुटीन ड्यूटी दे दी गई है. वहीं सभी स्वास्थ्यकर्मियों से स्पष्टीकरण भी तलब किया गया है.
आजतक की खबर के बाद 5 स्वास्थ्य कर्मी हटाए गए
मालूम हो कि जिस पीड़ित के साथ ये घटना हुई है वे सीडीओ गौरव सिंह सोगवार के ड्राइवर हैं और उन्होंने 25 फरवरी को कोवैक्सीन की पहली डोज ली थी. इसके बाद 25 मार्च को उन्हें वैक्सीन की दूसरी खुराक देने की तैयारी थी, लेकिन वे किसी वजह से लेट हो गए और 13 अप्रैल को वैक्सीन लगवाने जिला मुख्यालय के महिला अस्पताल पहुंचे. लेकिन वहां पर उस बुर्जुग को कोवैक्सीन की जगह कोविशील्ड की दूसरी डोज दे दी गई, जिस वजह से बड़ा बवाल खड़ा हुआ और पीड़ित की तरफ से भी विरोध दर्ज करवाया गया.
बुर्जुग को पहले लगी कोवैक्सीन, फिर कोविशील्ड
जब मामले ने तूल पकड़ा तो डिप्टी सीएमओ आईए अंसारी मौके पर पहुंचे और उन्होंने मामले का संज्ञान लिया और इसके जांच के आदेश दिए. अब कार्रवाई करते हुए पांच स्वास्थ्यकर्मियों को हटा दिया गया है और उन्हें रुटीन ड्यूटी दे दी गई है. वहीं आईए अंसारी की तरफ से पीड़ित बुजुर्ग को भी समझाया गया है कि वे सुरक्षित हैं और उन्हें किसी भी तरह की चिंता करने की जरूरत नहीं है. सीएमओ की तरफ जानकारी दी गई है कि पीड़ित को अब 30 दिन बाद कोवैक्सीन की दूसरी डोज दी जाएगी.
अधिकारियों से मांगा गया स्पष्टीकरण
जारी किए गए बयान में इस बात पर जोर दिया गया है कि इस तरह की लापरवाही को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. कहा गया है- पहली और दूसरी डोज में अलग-अलग कंपनी की वैक्सीन लग जाने के बारे में अभी तक कोई वैज्ञानिक अध्ययन सामने नहीं आया है. पहले ही सभी को सतर्क कर दिया गया था कि वैक्सीन की दोनों डोज एक ही कंपनी की लगेगी. वैक्सीन लगाने और लगवाने वाले एहतियात बरतें. टीकाकरण में लापरवाही बरतने पर एएनएम साधना, पायल,सामुदायिक स्वास्थ्य अधिकारी कृष्णा सहित पांच स्वास्थ्य कर्मचारियों को कोविड ड्यूटी से हटाकर रुटीन ड्यूटी पर लगा दिया गया है. सभी से स्पष्टीकरण तलब किया गया है.