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क्या डिंपल यादव आजम खान की रामपुर सीट से लड़ेंगी चुनाव?

कन्नौज संसदीय सीट से डिंपल यादव चुनाव हार गई हैं. वहीं, अखिलेश यादव आजमगढ़ सीट से जीतकर संसद पहुंच चुके हैं. अगला लोकसभा चुनाव पांच साल बाद है. ऐसे में डिंपल यादव  विधानसभा चुनाव लड़कर जीत हासिल करती हैं तो यूपी विधानसभा में पार्टी का नेतृत्व कर सकती हैं.

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डिंपल यादव के चुनाव लड़ने की अटकलें तेज  (फोटो-Twitter)
डिंपल यादव के चुनाव लड़ने की अटकलें तेज (फोटो-Twitter)

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उत्तर प्रदेश की 12 विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव की सियासी बिसात बिछाई जाने लगी है. उपचुनाव को लेकर बीजेपी और बीएसपी नेताओं की बैठकें हो रही हैं. वहीं, सपा प्रमुख अखिलेश यादव विदेश से लौटने के बाद सक्रिय हो गए हैं. इस उपचुनाव में कन्नौज लोकसभा सीट से चुनाव हार चुकीं डिंपल यादव के उपचुनाव में उतरने के कयास लगाए जाने लगे हैं?

सपा के कद्दावर नेता और पार्टी के मुस्लिम चेहरा माने जाने वाले आजम खान इस बार लोकसभा चुनाव में रामपुर संसदीय सीट से सांसद चुने गए हैं, जिसके बाद उन्होंने विधायक पद से इस्तीफा दे दिया है. इसके चलते रामपुर विधानसभा सीट रिक्त हो गई है, जहां उपचुनाव होना है.

सूत्रों की मानें तो आजम खान अपनी रामपुर विधानसभा सीट से सपा प्रमुख अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव को चुनाव लड़ाना चाहते हैं. इसके लिए उन्होंने बकायदा सपा अध्यक्ष को प्रस्ताव दिया है. हालांकि अखिलेश यादव ने इस पर अभी हामी नहीं भरी है. जबकि डिंपल को आजम खान जिताने की पूरी गारंटी ले रहे हैं.

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चर्चा इस बात की है कि बीजेपी रामपुर विधानसभा में एक बार फिर जयप्रदा पर दांव लगा सकती है. इसी संभावना को देखते आजम खान ने डिंपल यादव को चुनावी रण में उतारने का मन बनाया है ताकि बीजेपी को करारी मात देकर वो अपने वर्चस्व को रामपुर में कायम रख सके.

कन्नौज संसदीय सीट से इस बार डिंपल यादव चुनाव हार गई हैं. उन्हें बीजेपी के सुब्रत पाठक ने चुनाव हराया है. वहीं, अखिलेश यादव आजमगढ़ सीट से जीतकर संसद पहुंच चुके हैं. अगला लोकसभा चुनाव पांच साल बाद है. ऐसे में डिंपल यादव अगर विधानसभा चुनाव लड़कर जीत हासिल करती हैं तो यूपी विधानसभा में पार्टी का नेतृत्व कर सकती हैं.

रामपुर विधानसभा सीट के सियासी समीकरण भी सपा के पक्ष में है. यह सीट आजम खान की परंपरागत मानी जाती हैं, यहां से 1980 से इसी सीट से चुनाव जीत दर्ज करते आ रहे हैं. आजम खान को रामपुर में पहली और आखिरी हार 1996 के विधानसभा चुनाव में मिली थी. इस चुनाव को छोड़ दें तो आजम खान 1980 से लगातार रामपुर विधानसभा सीट से विधायक निर्वाचित होते आ रहे हैं.

सूत्रों की मानें तो यही वजह है कि आजम खान अपनी परंपरागत विधानसभा सीट से डिंपल यादव को चुनाव मैदान में उतारना चाहते हैं. हालांकि पार्टी के कुछ नेता नहीं चाहते हैं कि डिपंल यादव रामपुर सीट से चुनावी मैदान में उतरे. उन्हें लगता है कि अगर डिंपल यादव रामपुर से चुनाव लड़ती हैं और जीत दर्ज करने में कामयाब रहती हैं तो इसका श्रेय आजम खान को जाएगा और पार्टी में उनका कद और भी बढ़ जाएगा.

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