भारतीय जनता पार्टी ने यूपी विधानसभा में रविवार को पेश हुए मुजफ्फरनगर दंगों की न्यायिक जांच रिपोर्ट को ‘तमाम अर्धसत्यों का घालमेल’ करार देते हुए इसकी सीबीआई जांच कराने की मांग की है. बीजेपी विधानमंडल दल के नेता सुरेश खन्ना ने आरोप लगाया कि यह एकपक्षीय और अधूरी रिपोर्ट असली आरोपियों और दंगों के कारणों, उकसावों और उसके फैलाव पर प्रकाश नहीं डालती.
बीजेपी ने की सीबीआई जांच की मांग
उन्होंने कहा कि मुजफ्फरनगर दंगे सरकारी नीतियों और तंत्र की असफलता से बढ़ने के बाद प्रभावशाली मंत्रियों के हस्तक्षेप के कारण बेकाबू हुए. सरकार ने मुजफ्फरनगर की शुरुआती घटनाओं पर फौरी कार्रवाई नहीं की. इससे दंगे भड़के. खन्ना ने कहा कि भाजपा विधानमंडल दल दंगों की सीबीआई जांच की मांग करता है. उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में सरकार ने असली दोषियों को बचाया है. अगर आयोग गहनता से छानबीन करता तो सच सामने आ जाता.
अखिलेश यादव पर सारी जिम्मेदारी
इस बीच, कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष सत्यदेव त्रिपाठी ने कहा कि सरकारी तंत्र की लापरवाही और दृढ़ इच्छाशक्ति की कमी के कारण यह दंगा बढ़ा. इसके लिए बीजेपी और सपा दोनों ही दोषी हैं. उन्होंने कहा कि गृह विभाग मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के पास है. इसलिए वह इन दंगों के लिए नैतिक तौर पर जिम्मेदार हैं.
बीजेपी-सपा की मिलीभगत से भड़का दंगा
कांग्रेस प्रवक्ता मारूफ खां ने कहा कि लोकसभा चुनाव से पहले सपा और बीजेपी ने मतों के ध्रुवीकरण के लिए भावनाओं को जानबूझकर भड़काया और सरकार ने दंगे नियंत्रित करने में ढिलाई बरती जिससे उनकी भयावहता बढ़ती गई.