मोदी सरकार द्वारा आरक्षण को कैटैगराईजेशन के लिए बनाए गए कमीशन पर समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता सुनील साजन ने कहा कि मोदी की नेतृत्व वाली सरकार अंग्रेजों की तर्ज पर ओबीसी को आपस में बांटकर राजनीति करना चाहती है. ओबीसी के हितों के लिए वह कतई गंभीर नहीं है, सिर्फ अपने सियासी फायदे के लिए ओबीसी समाज के बीच दरार पैदा करने की दिशा में कमीशन बनाया है
एसपी MLC सुनील साजन ने aajtak.in से बात करते हुए कहा कि जातिगत जनगणना हो चुकी है, उसे सार्वजनिक करने के बजाए ओबीसी समाज को ही बांटने की दिशा में मोदी सरकार काम कर रही है. अंग्रेजों ने जिस प्रकार समाज में फूट डालो-राज करो की नीति को अपनाकर राज किया है, उसी नक्शेकदम पर मोदी सरकार भी चल रही है. यही वजह है कि उन्होंने केंद्रीय सेवाओं में ओबीसी जातियों को मिल रहे आरक्षण को बांटने की मंशा से कोटे में कोटा तलाशने के लिए कमीशन को मंजूरी दी है. जबकि हमारी पार्टी शुरू से कहती आ रही है कि आज जातिगत जनगणना को सार्वजनिक करके जिस समाज की जितनी हिस्सेदारी है उसे उतना आरक्षण दे दिया जाए.
साजन ने कहा कि मोदी सरकार यादव और कुर्मी समाज को लगातार टारगेट कर रही है. इस कमीशन के जरिए भी इन्हीं दोनों समाज को निशाना बना रही है, ताकि ओबीसी की तमाम जातियों को यादव और कुर्मी के खिलाफ खड़ा कर सके. सरकार को लगता है कि ओबीसी कुछ जातियां सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पीछे रह गई हैं तो उसके लिए कोई ठोस कदम उठाए. लेकिन सरकार ये काम नहीं करेगी, बल्कि वह समाज के बीच में दरार दालकर अपना सियासी फायदा उठाने की मंशा है. इसके बहाने वह बहस कराना चाहती है फिर धीरे से आरक्षण ही खत्म देने की मंशा पाल रखी है. बीजेपी के नेताओं ने आरक्षण खत्म करने की कई बार मंशा जाहिर कर चुके हैं.