दुनिया के चौथे और एशिया के सबसे बड़े जेवर एयरपोर्ट के निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण में आ रही रुकावटों पर लगाम लग गई है. सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलने के बाद गुरुवार तक लगभग 65 प्रतिशत से ज्यादा किसान जमीन देने के लिए राजी हो गए हैं. बीते सप्ताह ये किसान स्थानीय विधायक धीरेंद्र सिंह के साथ लखनऊ में योगी आदित्यनाथ से मिले थे. सीएम से मिलने से पहले केवल 20 फीसदी किसान ही भूमि अधिग्रहण के लिए तैयार थे.
जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह ने बताया कि जल्द ही सभी किसान अपनी सहमति दे देंगे और दूसरे चरण का काम भी शुरू हो जाएगा. मुआवज़े में बढ़ोतरी और स्थानीय युवाओं को रोजगार में प्राथमिकता का वादा मुख्यमंत्री द्वारा किए जाने के बाद किसान संतुष्ट हैं और अब दूसरे चरण के निर्माण में कोई बाधा नहीं है. पहले चरण में जल्दबाजी में विस्थापन से किसान नाराज हो गए थे और अधिकारियों के रवैए से असन्तुष्ट थे. अब उम्मीद की जा रही है कि योगी आदित्यनाथ से मिलने के बाद काम तेजी से आगे बढ़ेगा और किसान भूमि अधिग्रहण के लिए सहमति जताएंगे.
2150 रुपए प्रति वर्ग मीटर के हिसाब से मिलेगा मुआवजा
किसान अजय भाटी ने बताया कि मुख्यमंत्री ने मुआवजा बढ़ाकर 3500 रुपए कर दिया है जिससे किसान सन्तुष्ट हैं. पहले फेज के किसानों को 2150 रुपए प्रति वर्ग मीटर के हिसाब से मुआवजा मिला था. जेवर एयरपोर्ट के दूसरे फ़ेज के लिए 11,185 हेक्टेयर ज़मीन का अधिग्रहण किया जाएगा. विधायक सिंह ने बताया कि दिसंबर 2023 तक हवाईअड्डे से पहली उड़ान भरने की सम्भावना है.