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मानसिक मरीज हैं बेनी प्रसाद वर्मा: सपा

केंद्रीय इस्पात मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा के बयान पर यूपी में सियासत गरम है. एक तरफ भाजपा ने बेनी बाबू के बयान को उनकी बौखलाहट करार दिया है, तो दूसरी तरफ सपा ने उनको 'मानसिक मरीज' ही घोषित कर दिया.

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बेनी प्रसाद वर्मा
बेनी प्रसाद वर्मा

केंद्रीय इस्पात मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा के बयान पर यूपी में सियासत गरम है. एक तरफ भाजपा ने बेनी बाबू के बयान को उनकी बौखलाहट करार दिया है, तो दूसरी तरफ सपा ने उनको 'मानसिक मरीज' ही घोषित कर दिया. समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रवक्ता राजेन्द्र चौधरी ने यहां तक कह डाला कि उनकी उम्र हो चली है, जिसकी वजह से उन्‍हें उचित-अनुचित, सही-गलत का ज्ञान भी नहीं रह गया है. चौधरी ने कहा, 'वे कभी मुलायम सिंह यादव को अपना गहरा दोस्त बताते है और तो कभी उनके खिलाफ अनर्गल बयानबाजी करने लगते है. दोस्ती में दगा यानी जिस थाली में खाएं, उसी में छेद करने का उनका यह चरित्र उनकी काबिले तारीफ है. कांग्रेस को उनका नया 'वफादार' मुबारक हो.'

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दरअसल, बीते शनिवार को बेनी बाबू ने मुलायम सिंह यादव को धमकी देते हुए कहा था कि अभी उनकी फाइलें बंद नहीं हुई है और इन्‍हें कभी भी सीबीआई खोल सकती है. बेनी ने 23 जनवरी को गोरखपुर में नरेंद्र मोदी और बनारस में मुलायम सिंह के रैली में मोदी और मुलायम के भाषणों का 'स्क्रिप्ट राइटर' अमित शाह को बताया था. बेनी बाबू ने दोनों पार्टियों के बीच गुपचुप सांठ गांठ का आरोप भी लगाया था.

सपा प्रवक्ता ने सोमवार को कहा कि केंद्रीय मंत्री अपनी याददाश्त भी खो चुके हैं, नहीं तो वे मुलायम सिंह यादव और मोदी के बीच मैच फिक्सिंग जैसी उलटबांसी नहीं बोलते. उन्‍होंने कहा, 'हर कोई जानता है कि समाजवादी पार्टी और मुलायम सिंह यादव सांप्रदायिकता के खिलाफ लगातार संघर्ष रहे हैं. इसके चलते ही एनडीए-भाजपा केन्द्र में सत्ता से बाहर है. इस्पात मंत्री शुक्र मनाएं कि मुलायम सिंह यादव की वजह से ही केंद्र में यूपीए सरकार बनी और उन्हें दलबदल और दगाबाजी के फलस्वरूप मंत्री पद मिला.'

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वहीं, बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता विजय बहादुर पाठक कहते हैं कि आगामी लोकसभा चुनावों से जुड़े सर्वेक्षणों में भाजपा की निर्णायक बढ़त से विपक्षी दलों में बौखलाहट है. उन्‍होंने कहा कि कांग्रेस सहित यूपीए सरकार के सहयोगी दलों में निराशा व हताशा का माहौल है. यही वजह है कि वे लगातार अमर्यादित व बेतुकी बयानबाजी कर रहे हैं.

बीजेपी के पीएम पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के भाषण की स्क्रिप्ट अमित शाह द्वारा लिखने के बयान पर पाठक ने कहा कि बेनी प्रसाद जिस पार्टी में हैं, वहां की मुखिया हमेशा लिखा हुआ भाषण ही पढ़ती हैं, इसलिए वो ऐसी टिप्पणी कर रहे हैं. जहां तक मुलायम और मोदी के भाषण की स्क्रिप्ट का सवाल है तो बेनी को कैसे पता कि मुलायम और मोदी के भाषण की स्क्रिप्ट अमित शाह लिख रहे थे.

बीजेपी नेता ने कहा कि विपक्षी दल कुंठाग्रस्त होकर लगातार ओछी बयानबाजी कर रहे हैं. एक दूसरे के भ्रष्टाचार को समर्थन दे रहे कांग्रेस और सपा के नेता चुनावी आहट के कारण नूराकुश्ती में जुटे हैं. जिस ट्रक खरीद घोटाले का जिक्र कांग्रेस के नेता कर रहे हैं, उसकी जांच क्यों नही करवाई गई. जबकि उनके अनुसार उनके पास पर्याप्त जानकारी है कि घोटाला हुआ है. फिर इस मुद्दे पर सपा नेता चुप क्यों हैं.

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