उत्तर प्रदेश की योगी सरकार के दो मंत्री मुश्किल में हैं. एक मंत्री को कोर्ट ने एक साल की सजा सुना दी है तो दूसरे मंत्री पर गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है. एक मंत्री सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के हैं तो दूसरे मंत्री गठबंधन सहयोगी निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष. निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉक्टर संजय निषाद के खिलाफ कोर्ट ने गैर जमानती वारंट जारी किया है.
यूपी सरकार में मत्स्य पालन विभाग के मंत्री डॉक्टर संजय निषाद आज कोर्ट में सरेंडर कर सकते हैं. जानकारी के मुताबिक संजय निषाद आज दोपहर दो बजे गोरखपुर के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) की कोर्ट में सरेंडर करेंगे. संजय निषाद के खिलाफ गोरखपुर के सीजेएम कोर्ट ने साल 2015 में निषाद समाज के लिए आरक्षण की मांग को लेकर हुए प्रदर्शन के मामले में गैर जमानती वारंट जारी किया था.
सीजेएम कोर्ट ने 2015 के आरक्षण आंदोलन से जुड़े मामले में गैर जमानती वारंट जारी करते हुए आरोपी संजय निषाद को गिरफ्तार करने और 10 अगस्त तक कोर्ट में पेश करने के लिए कहा था. संजय निषाद को पुलिस गिरफ्तार नहीं कर पाई है. कोर्ट ने संजय निषाद को पेश करने के लिए आज तक का समय पुलिस को दिया था, ऐसे में आज संजय निषाद कोर्ट में सरेंडर कर सकते हैं.
2015 का है मामला
संजय निषाद के खिलाफ जिस मामले में गैर जमानती वारंट जारी हुआ है, वह मामला साल 2015 का है. तब निषाद समाज के लोग संजय निषाद की अगुवाई में रेल ट्रैक पर उतर आए थे और रेल परिचालन बाधित कर दिया था. इस दौरान फायरिंग में एक व्यक्ति की मौत भी हो गई थी. संजय निषाद के खिलाफ रेल पटरियां उखाड़ने का मामला दर्ज है.
राकेश सचान को हुई सजा
बता दें कि योगी सरकार के एक अन्य मंत्री राकेश सचान को कानपुर की कोर्ट ने अवैध असलहा से जुड़े मामले में दोषी ठहराया था. कोर्ट की ओर से दोषी ठहराए जाने के बाद राकेश सचान कोर्ट रूम से कथित रूप से फाइल लेकर भाग गए थे. बाद में उन्होंने कोर्ट में सरेंडर कर दिया था. कोर्ट ने राकेश सचान को एक साल कैद की सजा सुनाई थी.