उत्तर प्रदेश के 32 जिलों में अवैध धर्मांतरण का जाल फैला हुआ है. यूपी की एंटी टेररिस्ट स्क्वाड टीम पूरे धर्मांतरण रैकेट की पोल खोलने में जुटी है. एटीएस धर्मांतरण रैकेट की पड़ताल कर रही है लेकन टीम में अफसरों की कमी देखने को मिल रही है. व्यापक स्तर पर फैले अवैध धर्मांतरण के जाल की पड़ताल के लिए कम से कम 100 से ज्यादा पुलिसकर्मियों की जरूरत है.
32 जिलों में जांच के लिए विशेष की टीमों का गठन किया गया है, जिनका मकसद अवैध धर्मांतरण केस की तहें खोलना है. धर्मांतरण केस में गिरफ्तार तीन अन्य आरोपियों से भी पुलिस रिमांड के दौरान पूछताछ शुरू कर रही है. अहमदाबाद से गिरफ्तार कर लाए गए सलाहुद्दीन को शुक्रवार को कोर्ट ने न्यायिक अभिरक्षा में लेकर जेल भेज दिया गया है.
यूपी एटीएस आरोपी को कस्टडी रिमांड में लेने के बाद पूछताछ करेगी. लखनऊ कोर्ट से पांच दिनों की कस्टडी रिमांड मंजूर होने के बाद एटीएस ने शुक्रवार को इरफान शेख, राहुल भोला और अब्दुल मन्नान उर्फ मन्नू यादव को जिला जेल लखनऊ से पुलिस कस्टडी में लिया है.
Exclusive: कैसे खुला 1 हजार से ज्यादा लोगों के धर्म परिवर्तन का मामला? UP ATS को ऐसे मिली लीड
कई टीमें कर रही हैं आरोपियों से पूछताछ
अलग-अलग टीमें गठित करके तीनों से पूछताछ की जा रही है. अवैध धर्मांतरण मामले के मुख्य अभियुक्त उमर गौतम ने हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच के समक्ष एक याचिका दाखिल की. इस याचिका में उमर गौतम की तरफ से मांग की गई है कि जांच की मीडिया रिपोर्टिंग रोक दी जाए.
शुक्रवार को न्यायमूर्ति रमेश सिन्हा और विकास कुंवर श्रीवास्तव की खंडपीठ के समक्ष सुनवाई हुई है. याचिका पर सुनवाई के बाद कोर्ट ने अपना आदेश सुरक्षित कर लिया है.