मैदानी इलाकों के साथ पहाड़ों पर भी पानी का प्रकोप दिख रहा है. उत्तराखंड में लगातार बारिश के बाद कई जिलों में रेड अलर्ट जारी कर दिया गया है. हल्द्वानी से नैनीताल तक मॉनसून की बारिश तबाही मचा रही है.ज्यादातर इलाकों में नदियां उफान पर हैं तो पहाड़ों पर लैंडस्लाइड का खतरा बढ़ता जा रहा है.
प्रदेश के मुख्यमंत्री धामी ने सभी जिलाधिकारियों को अलर्ट पर रहने को कहा है. बारिश से उत्तराखंड की 200 से ज्यादा सड़कें बंद हैं. नैनीताल, पिथौरागढ़, बागेश्वर जिले में सरकारी और गैर सरकारी सभी स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई है. इस बीच मौसम विभाग ने ऐसा ही मौसम बने रहने का अनुमान जताया है. इसलिए अभी खतरा टला नहीं है.
उत्तराखंड के पहाड़ों पर मूसलाधार बारिश मुसीबत बनकर बरस रही है. कुमाऊं से लेकर पौड़ी गढ़वाल तक बारिश होने से नदियां उफान पर हैं. मौसम विभाग (IMD) ने कुमाऊं के साथ चमोली, पौड़ी, रुद्रप्रयाग तक रेड अलर्ट जारी कर दिया है. नैनीताल में बीते दो दिन से लगातार हो रही बारिश के बाद कैंची धाम के पास शिप्रा नदी उफान पर है. प्रशासन सैलानियों से लगातार अपील कर रहा है कि नदियों किनारे संभलकर जाएं.
वहीं, मसूरी में मूसलाधार बारिश के बाद लैंडस्लाइड से कई जगह सड़कें मलबे से पटी पड़ी हैं. लैंडस्लाइड के दौरान पहाड़ से बड़े-बड़े बोल्डर सड़क पर आ गए हैं.उधम सिंह नगर में भी 3 दिन से लगातार हो रही बारिश से हालात बेकाबू नजर आ रहे हैं. जिसके बाद लोग अपने घरों में कैद रहने को मजबूर हैं.
दिल्ली से नैनीताल को जोड़ने वाले रास्ते पर आवाजाही प्रभावित है. बारिश के बाद सड़कें तालाब में तब्दील हो गईं हैं. वहीं, कोटद्वार में भी बारिश का सितम देखने को मिल रहा है. चमोली में बारिश के साथ पहाड़ी रास्तों पर चट्टानें खिसकने की घटनाएं बढ़ गई हैं. बारिश में बद्रीनाथ से राजमार्ग पर सड़क का आधा हिस्सा बह चुका है.