Uttarakhand rainfall news: उत्तराखंड में एक बार फिर बारिश, बादल फटने और अचानक आई बाढ़ की वजह से तबाही मची है. राज्य के कई हिस्सों में इस नई प्राकृतिक आपदा में मरने वालों का आंकड़ा 40 तक पहुंच चुका है. सरकार आपदा से त्रस्त लोगों की मदद करने का ऐलान किया है. नैनीताल और अन्य क्षेत्रों से कई ऐसे वीडियो सामने आए हैं, जिसमें सड़कों और पुलों से पानी बहता दिख रहा है. यही नहीं रेल की पटरियां तक बह गई हैं.
उत्तराखंड के डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि नैनीताल में 25 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि पूरे प्रदेश में कुल 40 मौतें हो चुकी हैं. मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बताया कि मृतकों के परिवारों को 4-4 लाख रुपये का मुआवजा दिया जाएगा. और घर गंवाने वालों को 1.9 लाख रुपये दिए जाएंगे. जिन लोगों ने अपना पशुधन खो दिया है, उन्हें भी हर संभव मदद दी जाएगी.
PM मोदी ने जताया शोक
उत्तराखंड में आई प्राकृतिक आपदा को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर शोक जताया. उन्होंने कहा, 'उत्तराखंड के कुछ हिस्सों में भारी वर्षा के कारण लोगों की जान जाने से मैं व्यथित हूं. घायल शीघ्र स्वस्थ हों. प्रभावित लोगों की मदद के लिए बचाव कार्य जारी है. मैं सभी की सुरक्षा और भलाई के लिए प्रार्थना करता हूं.'
I am anguished by the loss of lives due to heavy rainfall in parts of Uttarakhand. May the injured recover soon. Rescue operations are underway to help those affected. I pray for everyone’s safety and well-being.
— Narendra Modi (@narendramodi) October 19, 2021
एनडीआरएफ की कितनी टीमें कहां तैनात
उत्तराखंड में प्राकृतिक आपदा को देखते हुए एनडीआरएफ की 15 टीमें तैनात की गई हैं. ऊधमसिंह नगर में अब तक 300 लोगों को रेस्क्यू किया जा चुका है.
ऊधमसिंह नगर- 6 टीम
उत्तरकाशी- 2 टीम
चमोली- 2 टीम
देहरादून- 1 टीम
हरिद्वार- 1 टीम
पिथौरागढ़- 1 टीम
नैनीताल-1 फूल टीम और 1 सब टीम
अल्मोड़ा में 1 सब टीम
रिजॉर्ट में फंसे 200 सैलानियों को किया गया रेस्क्यू
डीजीपी अशोक कुमार ने बताया कि रामनगर-रानीखेत मार्ग स्थित लेमन ट्री रिजॉर्ट में फंसे करीब 200 लोगों को सुरक्षित निकाल लिया गया है. उन्होंने बताया कि पुलिस, एसडीआरएफ और एनडीआरएफ की टीमें तैनात हैं. सबसे ज्यादा हताहत नैनीताल जिले में हुई. इससे पहले मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बताया था कि पिछले दो दिनों में कुल 16 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि कई अन्य बादल फटने और भूस्खलन के बाद मलबे में दबे हुए हैं.
मौसम विभाग की ओर से जारी सूचना के मुताबिक पिछले 24 घंटे में भारी बारिश से बहुत भारी बारिश हुई है. नैनीताल में 401 एमएम बारिश दर्ज हुई है जबकि पिथौरागढ़ में 212.1 एमएम, मुक्तेश्वर 340.8 एमएम बारिश हुई है.
वहीं नैनीताल जिले के रामगढ़ इलाके में बादल फटने की खबर है और इस घटना में कई मजदूरों के बह जाने की आशंका जताई गई है. दूसरी ओर, कई ऐसे वीडियो आए हैं जिसमें दिख रहा है कि नैनी झील उफना गई है और सड़कों, कॉफी की दुकानों और आसपास के कई क्षेत्र पूरी तरह से जलमग्न दिखाई दे रहे हैं.
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि भारी बारिश के कारण बनी स्थिति के दृष्टिगत जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं, मैं व्यक्तिगत रूप से जगह-जगह जाकर नुकसान एवं राहत और बचाव कार्यों का जायजा ले रहा हूं.
भारी बारिश के कारण बनी स्थिति के दृष्टिगत ज़रूरी कदम उठाए जा रहे हैं, मैं व्यक्तिगत रूप से जगह-जगह जाकर नुकसान एवं राहत और बचाव कार्यों का जायजा ले रहा हूँ। pic.twitter.com/zlcSELkivs
— Pushkar Singh Dhami (@pushkardhami) October 19, 2021
नैनीताल पूरी तरह से कटा, रास्ते बंद
एक के बाद एक कई भूस्खलन की घटनाओं की वजह से इस प्रसिद्ध पर्यटन स्थल को जोड़ने वाली मुख्य सड़कें अवरुद्ध होने से नैनीताल उत्तराखंड के बाकी हिस्सों से पूरी तरह से कट गया है. कई जगहों पर राहत और बचाव कार्य जारी है. हालांकि मौसम विभाग ने भविष्यवाणी की है कि अगले 24 घंटे में कम बारिश होगी.
इस बीच भारी बारिश की वजह से नैनीताल झील ओवरफ्लो होकर भवाली और हल्द्वानी दोनों मार्गों की ओर तेज धार में नदी की तरह बह रही थी. हालात ये हो गए थे कि कैंट की तरफ जो दुकानें भवाली रोड पर थीं वहां 25 से 30 लोग पिछले 14 घंटों से फंसे हुए थे. उन्हें सेना की मदद से बाहर निकला गया.
इसे भी क्लिक करें --- उत्तराखंड में कुदरती कहर, बद्रीनाथ में उफनते नाले में फंसी कार, केदारनाथ में बचाए गए 22 श्रद्धालु
सेना के हेलिकॉप्टर से ग्रामीणों का रेस्क्यू
नैनीताल के रामनगर में आर्मी के हेलिकॉप्टर की मदद से सुंदरखाल गांव में फंसे दो दर्जन से अधिक ग्रामीणों का सुरक्षित रेस्क्यू किया गया है. ग्रामीण पिछले 48 घंटों से नदी के बीचों बीच फंसे हुए थे. सभी गांव वालों को सुरक्षित रेस्क्यू किया गया.
रामगढ़ के गांव में फटा बादल
नैनीताल जिले के रामगढ़ के एक गांव से बादल फटने की घटना सामने आई है. कई लोगों के मलबे में दबे होने की आशंका जताई गई है. नैनीताल एसएसपी प्रियदर्शनी ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया, "नैनीताल जिले के रामगढ़ के एक गांव में बादल फटने की जगह से कुछ घायलों को बचा लिया गया है, हालांकि उनकी वास्तविक संख्या का अभी पता नहीं चल सका है."
रिसॉर्ट में घुसा कोसी नदी का पानी
नैनीताल में माल रोड और नैनी झील के किनारे स्थित नैना देवी मंदिर में पानी भर गया है, जबकि भूस्खलन के कारण एक छात्रावास की इमारत क्षतिग्रस्त हो गई है. शहर के रामनगर-रानीखेत मार्ग पर लेमन ट्री रिसॉर्ट में करीब 200 लोग फंस गए, जहां कोसी नदी का पानी रिसॉर्ट में घुस गया. इस बारे में अल्मोड़ा पुलिस ने बताया कि नैनीताल के रामनगर स्थित लेमन ट्री रिसॉर्ट से करीब 200 पर्यटकों को सुरक्षित बचा लिया गया है. एसएसपी अल्मोड़ा पंकज भट्ट स्थिति की बारीकी से निगरानी कर रहे हैं. लेमन ट्री रिसॉर्ट नैनीताल-अल्मोड़ा सीमा पर नैनीताल की ओर स्थित है.
भारी बारिश और भूस्खलन की वजह से नैनीताल के मशहूर नैनी झील का पानी सड़कों पर उफना गया और कई जगह पर लोग इससे फंस गए. पिछले दो दिनों से लगातार हो रही भारी बारिश के बाद झील के आसपास की इमारतों और घरों में पानी घुस गया.
हालांकि उदासी के बीच मौसम विभाग ने कुछ आश्वासन देते हुए कहा है कि मंगलवार से उत्तराखंड में बारिश में उल्लेखनीय कमी आएगी. 22-23 अक्टूबर को हिमाचल प्रदेश में छिटपुट बारिश और बर्फबारी की संभावना जताई गई है और शनिवार को उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, उत्तर-पश्चिम राजस्थान में छिटपुट बारिश होने की संभावना है.
कुमाऊं क्षेत्र में ऑरेंज अलर्ट
इस बीच, उत्तराखंड के कुमाऊं क्षेत्र के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है, जबकि गढ़वाल में मौसम साफ रहने की उम्मीद है. मौसम विभाग ने बताया कि अगले चार दिनों तक गढ़वाल क्षेत्र में बारिश नहीं होगी.
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री धामी ने कहा है कि पीएम नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को उत्तराखंड की मौजूदा स्थिति से अवगत करा दिया गया है. सीएम धामी ने कहा, 'कई जगहों पर मकान, पुल आदि क्षतिग्रस्त हुए हैं. अब तक 16 लोगों की मौत हो चुकी है. बचाव कार्यों के लिए तीन हेलिकॉप्टर तैनात किए जाने हैं.
सेना के तीन हेलिकॉप्टरों में से दो को नैनीताल और एक को गढ़वाल क्षेत्र में विभिन्न स्थानों पर फंसे लोगों को बचाने के लिए भेजा जाएगा.
पुल के ऊपर जवानों की तैनाती
इस बीच उत्तराखंड में भारी बारिश के बाद रामपुर के टांडा थाना क्षेत्र के दड़ियाल इलाके में रामनगर बैराज से पानी भारी मात्रा में छोड़ा गया है. ये पानी नदी में आ गया जिसकी वजह से प्रशासन ने मुरादाबाद बाजपुर नैनीताल मार्ग को बंद कर रूट को डायवर्ट कर दिया है.
नदी में पानी का तेज बहाव आने की वजह से प्रशासन ने ट्रैफिक को रोक दिया है. वहीं पुल के ऊपर पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगा दी गई है. प्रशासनिक अधिकारियों की मानें तो पुल के ऊपर जवानों को लगा दिया है और लोगों को नदी से दूर किया जा रहा है.