कुल 16 गावों के किसानों ने लगाए हैं अधिग्रहण के नाम पर धोखे के आरोप. जिन किसानों से विकास के नाम पर ली गई थी जमीन, वो आज इसलिए नाराज हैं कि सरकार ने कौड़ी के भाव जमीन खरीद ली और मोटे मुनाफे पर बिल्डरों को बेच दिया. कुल 2 हजार से ज्यादा हेक्टेयर की जमीन का फंसा है विवाद.