विदेश मंत्री प्रणब मुखर्जी ने घोषणा की कि एनएसजी ने भारत के असैन्य परमाणु समझौते के मसौदे को मंजूर कर लिया है. भारत एकमात्र ऐसा देश बन गया है, जिसे सीटीबीटी और एनपीटी पर हस्ताक्षर किए बिना एनएसजी की मंजूरी मिली है.