सत्ता से छिटके लालू को अब महंगाई की मार भी समझ में आने लगी है. आखिर लालू को हो क्या गया है. कभी कर्मकांड के खिलाफ मोर्चा खोलने वाले लालू ऐसे भाग्यवादी हो गए हैं कि स्वाइन फ्लू से लड़ाई को भी भाग्य भरोसे छोड़ना चाहते हैं.